Book Title: Ashtapahud
Author(s): Kundkundacharya,
Publisher: Todarmal Granthamala Jaipur
View full book text
________________
३५३
१८८
२८६
१९९ १७०
१७५
अकारादि-अनुक्रम से गाथा सूची गाथा पुंछलिघरि जो भुंजइ पुरिसायारो अप्पा पुरिसेण वि सहियाए पुरिसोवि जो ससुत्तो पूयादिसु वयसहिय पंचमहव्वयजुत्ता पंच महव्वय जुत्तो पंचविहचेलचायं पंच वि इंदियपाणा पंचसु महव्वदेसु य पचेन्दियसंवरणं पंचेव णुव्वयाई
१६४
१५९
५५
१६७
८७
१७५
७८
१७६
१३५
ब
१००
१७८
बलसोक्खणाणदसण बहिरत्थे फुरियमणो बहसत्थ अत्थजाणे बारसविहतवयरणं बारस अङ्गवियाणं बारसविहतवजुत्ता बाहिरसंगच्चाओ बाहिरलिंगेण जुदो बाहिरसयणत्तावण बाहिरसंगविमुक्को बुद्धं जं बोहतो बंधो णिरओ संतो
पृष्ठ | गाथा ३१७ | भावहि अणुवेक्खाओ
भावहि पढमं तच्चं
भावहि पंचपयारं ४२ भावेण होइ णग्गो १८१ भावेण होइ णग्गो ११४
भावेण होइ लिंगी भावेह भावसुद्ध भावेह भावसुद्धं भावो वि दिव्वसिवसु भावो हि पढमलिंग
भावं तिविहपयारं ७४
भीसणणरयगईए २२५
भंजसु इंदियसेणं २४२
मइधणुहं जस्स थिर
मच्छो वि सालिसिथ्थो १२८ मणवयणकायदव्वा
मणुयभवेपंचिन्दिय ममत्तिं परिवज्जामि
मयमायकोहरहियो १९९ मय राय दोस मोहो २१४ मयराय दोषरहिओ ९२ मलरहिओ कलचत्तो ३१५
महुपिंगो णाम मुणी
मायावेल्लि असेसा २८१
मिच्छत्तछण्णदिट्ठी
मिच्छत्त तह कसाया १४१
मिच्छत्तं अण्णाणं १३४
मिच्छादिट्ठी जो सो
मिच्छाणाणेसु रओ १३२
मिच्छादसणमग्गे मूलगुणं छित्तूण य
मोहमयगारवेहिं १९० | मंसट्ठिसुक्कसोणिय
२७३
९० २४१
१५६
२३१ २१८
२०२
२५३
भरहे दुस्समकाले भव्वजणबोहणत्थं भवसायरे अणते भावरहिएण सपुरिस भावरहिओ ण सिज्झइ भावविमुत्तो मुत्तो भावविसुद्धिणिमित्तं भावसमणो य धीरो भावसवणो वि पावइ भावसहिदो य मुणिणो
१३३
२९३
१५५
२४४
२९४
१६२ २११
२३१
१५५

Page Navigation
1 ... 389 390 391 392 393 394