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________________ कार तज्ञानावली नासकउप शमते योपशमिक भात टं.देर्सना बराणी) मा. मोहनी ३) उस नागावर सारणी समोरणि ये अंतराय ए ४ कर्म नः स्वस्य उपशमई/ एम-तेरा) एव स्योपशमभाव स्व. तेच किं की शा स्मपंत रायस्स उमस उचसम्म सकिं तं रचर - अनेक प्रकार प- पाउने - ते कदर स्व. भिमतिज्ञाना बरगी नाऊ पराम उपशम यकीने झीझ यो पशमे कभ वकर्मतिज्ञाननी वि. काकूस यकार उपशमयोप जामनी पजाति) समानुष्यात आणावे नाते जहाख उवसमिया भ . म सुत ज्ञाननी झिर उ०अ) (म.मन पर्यायाननी स. मतिमाननीय बही ५। विधिज्ञान नीलझि बद्दी वाहियान उडि एवंसय उहिमनपा वगानमन्त www.painelibrary.org
SR No.650032
Book TitleAnuyogadwara Sutra
Original Sutra AuthorAryarakshit
Author
PublisherSujalpur
Publication Year1851
Total Pages412
LanguagePrakrit
ClassificationManuscript & agam_anuyogdwar
File Size168 MB
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