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मना । तिन्ही तालाव इति श्रावात
बलामा हिम इंसेन
नेकप्रकारे जे व्यायाम कुरिवान ईनिमिन स्पर
सालाच वागतिका
योग्य लगनलाई बलिया मलपर डिवम हमसे ना सातंत्र भविस६२ नाः श्रागवायामयोग व ग्रवामपन बंधु विनेदनको विरोधका बानाकुमथातथाम का एमेर सुगंधर बाजे तेल महागुणका प्राथनकार र सदिदापार शिवशंकरान ईमामान्याका कतिवायवेवाइते दालन ईम जमदात्रयाकलपाका रामानंदश्रादिदई नई कानमताई जबरा
युद्धकराहिं साततातपरस्त सययागसगदि सुगंधल्लिमा दिएहिं पोपओ हिंद विद्यादबलन मदनकंदना हिमाय मां 33 सर्वांचे इंडियन मात्रा करते हनाद हुई यह वेगवो बोप समारोक दूताधक नेसन विचार ॥ करणहाशा यदिनाकरण हा नाउ जाणाशा पाक रिवरकर S= "चोप
लिओ हिं मया लिओहिं विहणिजिहिं सार्वदिय माया न्हाय पिजेहिं अतिगर्हि अनिंगिए समात काकरियां पई अति किसाईयो हिनदी हवापाणि हाथ पादपगनेवलासुकुमाल पहारुषमरदन बेक कार्यवििधला मदन परिवमहाला श्रत्यं नाकाम लतला विनागमहिना॥ नाकारण राजा। विलेवनानिवार समाज प्रदेशमा करवा सामर्दन कराव रण हार नरवि
नम्स प्रापाणिपादमु कुमाल का मलतालहिं प्रसिद्धि बि एहिं दकेहिपावहिं कसले बुनियाकरा निपासून जे शिज्य विज्ञान मरांगनचोरिमर्दनव्यतिज्ञाय सा मरवननजंक रिवर्ज लगाकरामल स्त्रिदाना वाला सर्वविज्ञान साध्या दमा दिक साइंस दिन बना विजन दनाक रिवा नई विषजे गुणनाथ विशेषणाने हन रविवर निर्मात सुबना करण
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दि महावाहिं निउलसियोक्शा एहिं प्रिंमाणपरिमद्दवलप कर माहिं व्याद्विमुदी
'बईचचर विवेकीबई।