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________________ श्रीसूत्रकृताङ्गचूर्णि: ॥ ४४४ ॥ ७०) मातुश्री रतनबेन नरसी मोनजी सावला परिवार (पू. पं. श्री कल्याणबोधिविजयजीना शिष्य मुनिराज श्री भक्तिवर्धनविजयजी म. सा. तथा पू. साध्वीजी श्री जयशीलाश्रीजी म. ना संसारी सुपुत्र राजननी पुण्यस्मृति निमित्ते ह : सुपुत्रो नवीनभाइ, चुनीलाल, दिलीप, हितेश) ७१) श्री सीमंधर जिन आराधक ट्रस्ट, एमरल्ड एपार्टमेन्ट, अंधेरी (इ.) मुंबई ( प. पू. पंन्यासप्रवर श्री कल्याणबोधिविजयजी म. सा.नी प्रेरणाथी) ७२) श्री धर्मवर्धक श्वे. मू. पू. जैन संघ, कार्टर रोड नं. १, बोरीवली (प. पू. वैराग्यदेशनादक्ष आचार्य भगवंत श्री विजयहेमचंद्रसूरीश्वरजी म.सा. तथा पंन्यासप्रवर श्री कल्याणबोधि विजयजी गणिवर्यनी प्रेरणाथी) ७३) श्री उमरा जैन संघनी श्राविकाओ (ज्ञाननिधिमांथी) (प्रेरक : प.पू. मुनिराज श्री जिनेशरत्नविजयजी म.सा.) ७४) श्री केशरिया आदिनाथ जैन संघ, झाडोली, राज. (प्रेरक : प.पू. मु. श्री मेरूचंद्र वि. म. तथा पं. श्री हिरण्यबोधि वि. ग.) ७५) श्री धर्मशांति चेरीटेबल ट्रस्ट, कांदीवली, मुंबई (प्रेरक : प.पू. मुनिराज श्री हेमदर्शनवि. म. ) ७६) श्री जैन श्वे. मू. सुधाराखाता पेढी, महेसाणा. ।। ४४४ ॥
SR No.600363
Book TitleSuyagadang Suttam Part 02
Original Sutra AuthorN/A
Author
PublisherJinshasan Aradhana Trust
Publication Year2013
Total Pages480
LanguageSanskrit
ClassificationManuscript & agam_sutrakritang
File Size26 MB
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