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गाहा :
फेक्कार-सवण संतट्ठ-भीरु-उड्डीण-गिद्ध-सिसु-निवहं ।
सिसु-निवह-हत्थ-संदङ्ग-भिल्ल-जुवईहिं दुष्पिच्छं ।। २०५।। संस्कृत छाया :
फेत्कार-श्रवणसन्त्रस्तभीसड्डीनगृशिशुनिवहम् ।
शिशुनिवहहस्तसन्दग्धभिल्लयुवतिभिर्दुष्प्रेक्ष्यम् ।।२०५।। गुजराती अनुवाद :
ओ लवाराना सांधणवाथी बास पामेला अने डी ने उड़ता गीधना बच्चाओ ना समुदाय थी व्याप्त अने वळी बाळकोनां समूदाय छे जेना हाथ मां अवा वळी गयेली श्रील युवतिओ बड़े न जोई शकाय अq... हिन्दी अनुवाद :
सियारों का वह फेत्कार सुनकर दु:खी और डरे गिद्ध के बच्चों के झुंड से व्याप्त, बालकों का समूह जिनके हाथ में है, ऐसी बन गई भील युवतियाँ भी जिसे न. देख सकें वैसे... गाहा :
दुप्पिच्छ-जलण-जाला-पलट्ठ-भिल्लोह-भवण-बीभच्छं। बीभच्छ-जलण-कवलिय-मय-माणुस-सय
समाइन्नं ।। २०६।। संस्कृत छाया :
दुष्प्रेक्ष्यज्वलनज्वालाप्लुष्टभिल्लौघभवनवीभत्सम् ।
वीभत्सज्वलनकवलितमृतमनुष्यशतसमाकीर्णम् ।।२०६।। गुजराती अनुवाद :
सळगती ज्वालाओं द्वारा भस्मीभूत श्रीलोना समुदायना भवनो थी भयंकर अने वळी भयंकर ज्वालाओं बड़े बरखातो सैंकड़ो मरेला मनुष्यों थी व्याप्त. हिन्दी अनुवाद :____ मुश्किल से देखा जा सके ऐसी सुलगती हुई ज्वाला से भस्मीभूत भीलों के समुदाय के घरों से निकलती वीभत्स ज्वालाओं से भरे हुए सैकड़ों मनुष्यों से व्याप्त..