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विद्यापीठ के प्रांगण में
प्रो० रामचन्द्रराव विद्यापीठ में
राष्ट्रीय मानव संस्कृति शोध संस्थान, वाराणसी द्वारा दिनांक ४ जनवरी को पार्श्वनाथ विद्यापीठ के सभागार में आयोजित समारोह में काशी हिन्दू विश्वविद्यालय के कुलपति, सुप्रसिद्ध वैज्ञानिक प्रो० रामचन्द्र राव ने विज्ञान और मानव समाज नामक विषय पर अपना विद्वत्तापूर्ण व्याख्यान दिया। अपने व्याख्यान में उन्होंने अनेक स्लाइड्स भी दिखाये। इस अवसर पर बड़ी संख्या में स्थानीय विद्वान्, विद्यापीठ के प्राध्यापक एवं शोधछात्र उपस्थित थे।
प्रवासी जैन तीर्थयात्रियों का विद्यापीठ में आगमन
२३ जनवरी को अमेरिका के प्रवासी जैन तीर्थयात्रियों का एक समूह श्री दिलीप वी० शाह के नेतृत्व में वाराणसी पहुँचा। इस समूह में कुल २४ तीर्थयात्री थे। २४ जनवरी को प्रातः ९.३० बजे उक्त सभी तीर्थयात्री विद्यापीठ पधारे। यहाँ विद्यापीठ की
संचालक समिति के सचिव प्रो० सांगरमल जैन, निदेशक- प्रो० महेश्वरी प्रसाद, वरिष्ठ प्रवक्ता डॉ० अशोक कुमार सिंह एवं डॉ० श्रीप्रकाश पाण्डेय तथा संस्थान के अन्य लोगों ने उनका स्वागत किया। आगन्तुक अतिथियों ने संस्थान परिसर स्थित विभिन्न भवनों, कलादीर्घा एवं पुस्तकालय का निरीक्षण किया और विद्यापीठ द्वारा परिचालित विभिन्न योजनाओं के लिये १५ हजार रुपये की राशि तुरन्त अनुदान के रूप में प्रदान की। श्री दिलीप वी० शाह ने विद्यापीठ में तैयार हो रहे जैन विश्वकोश की प्रगति पर भी प्रसन्नता व्यक्त की।
श्री डी० आर० मेहता पार्श्वनाथ विद्यापीठ में
सेबी के पूर्व अध्यक्ष और भगवान् महावीर विकलांग सेवा समिति एवं प्राकृत भारती अकादमी, जयपुर के संस्थापक श्री डी०आर० मेहता अपने वाराणसी प्रवास के दौरान दिनांक ३० जनवरी २००३ को विद्यापीठ में पधारे। यहाँ उन्होंने परिसर स्थित नवीन भवनों, यहाँ के समृद्ध पुस्तकालय, कलादीर्घा आदि को देखकर अत्यन्त प्रसन्नता व्यक्त करते हुए इसे जैन विद्या का एक महान् केन्द्र बतलाया और ध्यान एवं योग पर रचे गये मौलिक ग्रन्थों के हिन्दी एवं अंग्रेजी अनुवाद एवं उनके प्रकाशन हेतु पार्श्वनाथ विद्यापीठ एवं प्राकृत भारती अकादमी, जयपुर में परस्पर सहयोग पर
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