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सप्टेम्बर २०१७
सा.,
मुझ मन मधुकर मोहीओ, प्रभु पदपंकज पास रे... राखे ज्यो बहु रंगस्युं, अहम तणी अ अरदास रे... सा. ६ मन वच काया मई नम्यो, अज्जाहर जिन आज रे... सा., लखमीविजय उवझायनो, तिलक वधारण लाज रे... सा. ७
॥ इति श्री अज्जाहर पार्श्व स्तवनं ॥
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श्रीनेमिनाथ जिन स्तवन
राग मारुणी नणदलनी देशी
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प्रीतमस्युं मुझ प्रीतडी, रीतडी रुअडी राखि, नणदल आंकणी, अवर नरनी आखडी, ससिसूरिज होय साखि... नण. (१) वालिं भडई रथ वालीओ, तोरणथी ततकाल... नण. सामलीओ मिलीओ नहीं, रसीओ रंग रसाल... नण. (२) मई जाण्युं रे पीउ माहरो, नवलो धरस्यई नेह... नण. परबत वाहुलीया परिं छटकि दाख्यो छेह... नण. (३) सासू सिवादेवी सांभलो, वहुयर केरी वात... नण. बाईजी. उभा रई बेटडई, धीठी कीधी वात... नण. (४) सगपणुं हाडनुं स्युं करई, जो नेह सगाई न होई... नण. मात रहई महिला छलई, जगि अ अंतर जोय... नण. (५) छयलि अबला छेतरी, नव भव नेह निवारि... न मुगति धूतारी मानिनी, चितमां तेह चितारि... नण. (६) निठुर हुआ जो नेमजी, तोहि न छोडुं नेह... नण. मन वचनस्युं मई माहरी, दीधी एहनिं देह... नण. (७) गिरूई गढि गिरनारि गई, चतुर ग्रह्यं चारीत्र.... प्रभु पदपंकज पामीया, पदमीनी हुई पवीत्र...नण. (८) शिवपुर पंथ सिधारीया, निरमल पांमी नांण... नण.
.नण.
नण.
वाचक लखिमीविजय तणो, तिलक नमई सुविहांण... नण (९) इतिश्री नेमिजिन स्तवनं ... नींदलडीनी देशी.