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वास्तु चिन्तामणि
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प्रवेश एवं सड़क की अपेक्षा 1, यह ध्यान दें कि पार्श्व सड़क नैऋत्य को न जाती हो। 2. यदि दक्षिणी पार्श्व की सड़क पश्चिमी पार्श्व की सड़क से ऊंची हो तो
प्रवेश दक्षिण से रखना उचित है। यदि आग्नेय की तरफ 10 अंश से ज्यादा झुकाव हो तो दक्षिणी आग्नेय में एक गेट कम्पाउन्ड वाल में रखें। निवासी दरवाजे से पूर्वावर्ती आवागमन करें। उत्तर में भी एक दरवाजा
रखना जरूरी है। 3. यदि पश्चिमी पार्श्व की सड़क दक्षिणी पार्श्व की सड़क से ऊंची हो तो
प्रवेश पश्चिम से रखें। यदि पश्चिमी वायव्य की तरफ 10 अंश से ज्यादा झुकाव हो तो पश्चिमी नैऋत्य में कम्पाउन्ड वाल में एक गेट रखें। उत्तर में एक दरवाजा रखें। उत्तरावर्ती आवागमन करें।
चित्र न.-6
नीची सड़क
ऊंची सड़क
अन्य संकेत 1. नैऋत्य कमरे में स्वामी का शयन कक्ष अथवा शस्त्रागार बनाना शुभ है। 2. नैऋत्य कमरे में भूमिगत टैंक वाला बाथरूम बनाना भीषण संकट का
आमंत्रण है। 3. आग्नेय में रसोई कक्ष बनाना असंभव होने पर वायव्य या नैऋत्य कमरे
के आग्नेय कोण में बनाएं। 4. नैऋत्य में अन्य भूखण्ड या नाली होने पर कम्पाउन्ड वाल अवश्य बनाएं
तथा उससे एक मीटर छोड़कर मकान बनाएं।