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धूर्त-दगाबाज
१. मुत्र पद्मदलाकार, वाचा चन्दनशीतला। हृदयं क्रोधसंयुक्त, त्रिविधं धूर्तलक्षणम् ।।
सुभाषितरत्नभाण्डागार, पृष्ठ ५७ घूतं व्यक्ति के तीन लक्षण हैं। उसका मुह कमलपत्रवत् निला होता है. शणी चन्दनवन शीतल होती है और हृदय जोध से गरा हुआ होता
२. असती भवति सलज्जा, क्षारं नीरं च शीतलं भवति । दम्भी भवति विवेकी, प्रियवक्ता भत्रति धुर्त जनः ।।
-पञ्चतन्त्र ११४५१ कुलटा रग्री अधिक लज्जा करती है, खारा जल ज्यादा ठंडा होता है, कपटी व्यक्ति विवेक अधिक दिखलाता है और धुर्त मनुष्य मीठा बोलता
३. पूर्त-सम्बन्धीकहावतें-- • टु मच कारटिसी टु मच ऋष्ट ।
--अंग्नेगी कहावत
• अतिभक्तिरचौरस्य लक्षणम् ।
-संस्कृत कहावत
• अतिभक्ति चारेर लखन ।
-बंगला कहावत
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• शकल मोमनां, करतुत काफरां ।
- पंजाबी कहावत