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________________ १६८ विधि :-बार २१ या १०८ बार बेल मन्त्री जै घरण ठीकाने आवे | मन्त्र — ॐ नमों आदित्या भगदीन सूर्य संसयस वृष लोचन श्री शक्र प्रसादेन प्राधासीसी सूय नाशय २ स्वाहा । विधि :- बार 8 मन्त्रित धूप 'खेने से आधा सीसी रोग नष्ट होता है । मन्त्र :- ॐ जल कपई जल हर कंपइ सय पुत्र सु चंडिका कंप राजा रूवो (चो) कहा करे सि श्रासन छांडि वैदेसि जव लगई चंदन सिर चढ़ा वुं तब लग त्रिभुवन पाप पठावु ह्री फुट् स्वाहा । लघुविद्यानुवाद विधि - इस मन्त्र से चन्दनादि १०८ बार मन्त्रित करके माथे मे तिलक करे तो राजा का वशीकरण हो, सत्य है । मन्त्र :- ॐ नमो आदेश गुरू कू उंचो खेडो डिंग डिगे लोः तवे नें मोर मुछालो ज्यो २ मोरे पुकार बिछु चढ़े कराल | विधि :- इस मन्त्र को एकात मे खडे रह कर २१ बार जपे तो बिच्छू काटे हुए आदमी को ज्यादा जहर चढता है । मन्त्र :- ॐ नमो आदेश गुरू कूं धाइ गाइ गोबर जिसमे ऊपना च्यार बिछु चार काला चार काबरा चार भवरा पाखा लाल तारूं उतर बिछू नहीं तरे के नीलकंठ मोर हकारू मोर खासी तोड़े जारे बिछू मकरे खी छोड गु० ह० फु० । विधि मन्त्र - इस मन्त्रको २१ बार पढ कर हाथ से झाडा देने पर बिच्छू का जहर उतर जाता है । - - ॐ धु लुः देउ लः धुल पुरः तिहान मे दायरण देव कुकर विस कुनर ई मारग मारगस के ही मातरीख मन्त्री बधी जै सगला ई स्वान रो विषलत्तरई सही । विधि :- इस मन्त्र से ३ रविवार तक पागल कुत्त े का काटा हुआ आदमी को मन्त्रित करे २१ बार, तो कुत्ते का जहर उतर जाता है । मन्त्र :- ॐ छौं छौ छौ छः अस्मिन् यात्र े अवतर स्वाहाः । विधि - इस मन्त्र से पेडा, ३ बार मन्त्रित कर प्रात ही खावे तीन दिन तक, तो प्राधा सीसी ( श्राधा माथा का दर्द दूर हो
SR No.090264
Book TitleLaghu Vidyanuwada
Original Sutra AuthorN/A
AuthorLallulal Jain Godha
PublisherKunthu Vijay Granthamala Samiti Jaipur
Publication Year
Total Pages693
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari, Philosophy, & Religion
File Size28 MB
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