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________________ बिहार प्रदेश का जैन समाज 1547 मुनियक्त हैं । आहार देने में रुचि रखते हैं। सन् 1986 में सम्मेदशिखर तेरहपंथी कोठी में इन्द्रध्वज मंडल विधान का आयोजन कर चुके हैं। तीर्थ यात्रा प्रेमी हैं। अब तक सभी तीर्थों की वंदना कर चुके हैं। श्री दि.जैन पंचायत रांची के पिछले तीन वर्षों से अध्यक्ष का पद संभाले हुये हैं। गंगवाल जी का जन्म 11 फरवरी सन् 1935 को हुआ। सामान्य शिक्षा प्राप्त करने के पश्चात् आप कपड़ा व्यवसाय में चले गये । आपके पिताजी श्री लालचंद जी गंगवाल एवं माताजी श्रीमती मनादेवी गंगवाल दोनों का ही स्वर्गवास हो गया है । सन् 1951 में आपका विवाह श्रीमती रतनकंवर से हुआ जिनसे आपको दो पुत्र अशोककुमार एवं अरुणकुमार एवं दो पुत्रियां आशा एवं अनिता की प्राप्ति हुई । अशोककुमार जी 33 वर्षीय युवा हैं। उनकी पत्नी का नाम बीना है । एक पुत्री की माँ हैं । द्वितीय पुत्र अरूणकुमार ने भी बी.कॉम किया है । पत्नी का नाम सीमा है। आप बड़े मुनि भक्त है। आपकी पत्नी साधुओं को आहार देती रहती है तथा वह दशलक्षण व्रत के उपवास कर चुके हैं। गंगवाल जी छगनलाल जैन स्मृति भवन के ट्रस्टी, नागरमल मोदी सेवा समिति की कार्यकारिणी के सदस्य हैं । आपके तीन बड़े भाई हैं। सबसे बड़े भाई पंवरलाल जी का स्वर्गवास हो चुका है । मदनलाल जी जयपुर में एवं सुगनचंद जी रांची में व्यवसाय करते हैं। आपके चार बहिनें, सुगनीदेवी, अनोखीदेवी, मनफूल देवी एवं सुलोचनादेवी हैं। श्री पूनमचंद जी गंगवाल आपके चचेरे भाई हैं। पता : मानिकचंद अशोककुमार, अपर बाजार, रांची (बिहार) श्री माणिकचंद अजमेरा श्री अजमेरा जी वर्तमान में दि. जैन समाज हजारीबाग के अध्यक्ष हैं। साथ ही कपड़ा मर्चेन्टस् एसोसियेशन के भी अध्यक्ष हैं । अजमेरा जी मुनिभक्त हैं । तीर्थ वंदना प्रेमी हैं। प्रतिदिन पूजा पाठ करते हैं तथा धार्मिक गतिविधियों में खूब रुचि लेते हैं । देवघर पंचकल्याणक में भी आपने इन्द्र के पद को अलंकृत किया था । आपके पिताजी श्री गुलाबचंद जी का 82 वर्ष की आयु में तथा माताजी छायादेवी का करीब 30 वर्ष पूर्व निधन हो गया। श्री अजमेरा जी ने 66 बसन्त देख लिये हैं। मैट्रिक तक अध्ययन करने के पश्चात् आपका सन् 1945 में श्रीमती रतनी देवी से विवाह हो गया । जिनसे आपको तीन पुत्रों का पिता बनने का सौभाग्य प्राप्त हुआ। लेकिन ज्येष्ठ पुत्र श्री सुमेरचंद का 30 वर्ष की आयु में ही सन् 1977 में स्वर्गवास हो गया । दूसरे पुत्र श्री ललितकुमार 25 वर्षीय युवा हैं । उनकी पत्नी का नाम ममता हैं। तीसरे पुत्र दिलीपकुमार पढ़ रहे हैं । आपके पांच पुत्रियां हैं जिनके नाम कुसुम, निर्मला, मंजू, शकुन्तला एवं संगीता है । सभी का विवाह हो चुका है। पता - सुमेर स्टोर्स, झण्डा चौक, हजारीबाग म श्री मानमल झांझरी 80 वर्षीय श्री मानमल झांझरी का समूचे बिहार प्रदेश में विशिष्ट स्थान है। आपकी जन्म तिथि ज्येष्ठ शुक्ला पूर्णिमा सं.1967 है। सामान्य शिक्षा प्राप्त करने के पश्चात् आप अप्रक व्यवसाय में उतरे। तथा आपका विवाह श्रीमती ज्याना बाई से संपन्न हुआ। आपके पिताजी श्री बिरधीचन्द जी झांझरी भी अपने जमाने के प्रसिद्ध व्यक्ति थे । आपके एक मात्र पुत्र श्री महावीरप्रसाद झांझरी हैं।
SR No.090204
Book TitleJain Samaj ka Bruhad Itihas
Original Sutra AuthorN/A
AuthorKasturchand Kasliwal
PublisherJain Itihas Samiti Jaipur
Publication Year
Total Pages699
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari, History, & Culture
File Size16 MB
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