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________________ 246/ जैन समाज का वृहद् इतिहास 3. जिनेन्द्र कुमार जैन 4. आशा जैन 5. अनिला जैन यह ट्रस्ट धार्मिक व जन हितैषी कार्यों के लिये व निर्धन छात्रों की शिक्षा के लिये यथाशक्ति सहायता प्रदान करने का प्रयल करता है। पता :- मैसर्स यूनाईटेड आटो स्टोर्स,मिर्जा इस्माईल रोड,जयपुर फोन 72149 2. सी 125 लाल बिल्डिंग,मोती मार्ग,बापू नगर,जयपुर फोन 635060 श्री ताराचन्द बाकलीवाल ___ 'गटल' उपनाम से प्रसिद्ध श्री ताराचन्द बाकलीवाल का जैन समाज में प्रतिष्ठित स्थान है। आपके पिताजी मधुरीलाल जी एवं माताजी श्रीमती भंवरबाई दोनों का ही स्वर्गवास हो चुका है। कार्तिक सुदी 4 सं. 1987 को आपका जन्म हुआ तथा राजस्थान विश्वविद्यालय से आपने सन् 1953 में बी.कॉम.किया। इसके पूर्व ही आपका विवाह श्रीमती सुशीला देवी बाकलीवाल से हो गया था। जो एमए. साहित्यरत्न हैं। बाकलीवाल जी के तीन पुराग एक पुत्री है ! पसे बड़े परतीमा पार की कॉम एल.एल.बी. हैं । बैंक सर्विस में हैं । विवाहित हैं। दो बच्चों के पिता हैं । पत्नी मधु है वह भी बी.ए. है । दूसरे पुत्र सुधीर चार्टर्ड अकाउन्टेन्ट हैं । नमदा बनाने की फैक्टरों के मालिक हैं । सन् 1980 में विवाह हुआ। पली रंजना बी.ए. है। एक पुत्र एवं एक पुत्री के पिता हैं 1 तीसरे पुत्र सुनील एम.एस.सी.हैं तथा शेयर्स का कार्य करते हैं । सन् 1984 में आपका विवाह श्रीमती रेणु के साथ हुआ था। बाकलीवाल जी की एक मात्र पुत्री नीलू का विवाह हो चुका है। वह भी बी.ए. है। ताराचन्द जी उदार एवं शांत स्वभावी हैं। 8 जून 81 को आपकी ओर से कीर्ति नगर, गोपालपुरा के मंदिर में मूर्ति विराजमान की गई थी। जयपुर पंचकल्याणक में आप कुबेर पद से अलंकृत हुये थे। आपकी धर्मपत्नी श्रीमती सुशीला देवी बाकलीवाल का जयपुर जैन महिला समाज में प्रतिष्ठित स्थान है । सामाजिक कार्यों में बहुत रुचि लेती हैं । निभीक महिला हैं । महिला जागृति संघ जयपुर की 15 वर्षों तक मंत्री रह चुकी हैं। भगवान महावीर 2500 वां परिनिर्वाण शताब्दी महोत्सव में आपको स्वर्णपदक से सम्मानित किया गया था 1 संगोष्ठियों में एवं महिला सम्मेलनों में भाग लेती रहती हैं। अ.भा.दि.जैन परिषद महासभा,महासमिति सभी संस्थाओं से जुड़ी हुई र हैं। सांस्कृतिक कार्यक्रमों में भी भाग लेती रही हैं। पता - 103 ए, स्वास्तिक, यूनिवर्सिटी मार्ग,बापू नगर,जयपुर। श्रीमती सुशीला बाकलीवाल धर्मपत्नी श्री ताराचन्द माकलीवाल 14. 84
SR No.090204
Book TitleJain Samaj ka Bruhad Itihas
Original Sutra AuthorN/A
AuthorKasturchand Kasliwal
PublisherJain Itihas Samiti Jaipur
Publication Year
Total Pages699
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari, History, & Culture
File Size16 MB
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