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________________ सूत्रांक ४. ५. ६. ७. ८. ९. 90. ११. १२. १३. १४. १५. १६. 919. १८. १९. विषय रत्नप्रभा नरक में उत्पन्न होने वाले पर्याप्त संज्ञी संख्यात वर्षायुष्क पंचेन्द्रिय तिर्यंचयोनिक में उत्पातादि बीस द्वारों का प्ररूपण, शर्कराप्रभा से तमः प्रभा पृथ्वी पर्यन्त नरक में उत्पन्न होने वाले पर्याप्त संज्ञी संख्यात वर्षायुष्क पंचेन्द्रिय तिर्यंचयोनिक में उत्पातादि बीस द्वारों का प्ररूपण, अधः सप्तम नरक में उत्पन्न होने वाले पर्याप्त संज्ञी संख्यात वर्षायुष्क संज्ञी पंचेन्द्रिय तिर्यंचयोनिक में उत्पातादि बीस द्वारों का प्ररूपण, मनुष्य गति की अपेक्षा नरक में उपपात का प्ररूपण, रत्नप्रभा नरक में उत्पन्न होने वाले पर्याप्त संज्ञी संख्यात वर्षायुष्क मनुष्य में उत्पातादि बीस द्वारों का प्ररूपण, शर्कराप्रभा से तम प्रभा पृथ्वी पर्यन्त नरक में उत्पन्न होने वाले पर्याप्त संज्ञी संख्यात वर्षायुष्क मनुष्य उत्पातादि बीस द्वारों का प्ररूपण, में अधः सप्तम नरक में उत्पन्न होने वाले पर्याप्त संज्ञी संख्यात वर्षायुष्क मनुष्य में उत्पातादि बीस द्वारों का प्ररूपण, गति की अपेक्षा असुरकुमारों के उपपात का प्ररूपण, असुरकुमारों में उत्पन्न होने वाले पर्याप्त असंज्ञी पंचेन्द्रिय तिर्यंचयोनिक के उत्पातादि बीस द्वारों का प्ररूपण, असुरकुमारों में उत्पन्न होने वाले असंख्यात वर्षायुष्क संज्ञी पंचेन्द्रिय तिर्यंचयोनिकों के उत्पातादि बीस द्वारों का का प्ररूपण, नागकुमारों में उत्पन्न होने वाले असंख्यात वर्षायुष्क संज्ञी मनुष्यों के उत्पातादि बीस द्वारों का प्ररूपण, २१. नागकुमारों में उत्पन्न होने वाले पर्याप्त संख्यात वर्षायुष्क संज्ञी मनुष्यों के उत्पातादि बीस द्वारों का प्ररूपण, सुवर्णकुमार से स्तनितकुमार पर्यन्तों में उत्पातादि बीस द्वारों का प्ररूपण, २२. २३. गति की अपेक्षा पृथ्वीकायिकों के उपपात का प्ररूपण, २४. २५. पृथ्वीकायिक में उत्पन्न होने वाले पृथ्वीकायिक के उत्पातादि बीस द्वारों का प्ररूपण, पृथ्वीकायिकों में उत्पन्न होने वाले अकायिकों के उत्पातादि बीस द्वारों का प्ररूपण, २६. पृथ्वीकायिकों में उत्पन्न होने वाले तेजस्कायिकों के उत्पातादि बीस द्वारों का प्ररूपण, पृथ्वीकायिकों में उत्पन्न होने वाले वायुकायिकों के उत्पातादि बीस द्वारों का प्ररूपण, पृथ्वीकायिकों में उत्पन्न होने वाले वनस्पतिकायिकों के उत्पातादि बीस द्वारों का प्ररूपण, पृथ्वीकायिकों में उत्पन्न होने वाले द्वान्द्रियों में उत्पातादि बीस द्वारों का प्ररूपण, २७. २८. २९. ३०. पृथ्वीकायिकों में उत्पन्न होने वाले त्रीन्द्रिय जीवों के उत्पातादि बीस द्वारों का प्ररूपण, पृथ्वीकायिकों में उत्पन्न होने वाले चतुरिन्द्रिय जीवों के उत्पातादि बीस द्वारों का प्ररूपण, पंचेन्द्रिय तिर्यंचयोनिकों की अपेक्षा पृथ्वीकाय के उपपात का प्ररूपण, ३१. ३२. ३३. पृथ्वीकायिक में उत्पन्न होने वाले असंज्ञी पंचेन्द्रिय तिर्यंचयोनिकों के उत्पातादि बीस द्वारों का प्ररूपण, पृथ्वीकायिकों में उत्पन्न होने वाले संज्ञी पंचेन्द्रिय तिर्थचयोनिकों के उत्पातादि बीस द्वारों का प्ररूपण. मनुष्यों की अपेक्षा पृथ्वीकायिकों के उत्पातादि का प्ररूपण, ३५. ३६. पृथ्वीकायिक में उत्पन्न होने वाले असंज्ञी मनुष्यों के उत्पातादि बीस द्वारों का प्ररूपण, ३७. पृथ्वीकायिक में उत्पन्न होने वाले संज्ञी मनुष्यों के उत्पातादि बीस द्वारों का प्ररूपण, ३८. देवों की अपेक्षा पृथ्वीकायिक में उत्पात का प्ररूपण, ३९. पृथ्वीकायिकों में उत्पन्न होने वाले भवनवासी देवों के उत्पातादि बीस द्वारों का प्ररूपण, ( ५५ ) पृष्ठांक १६०९-१६१३ १६१३-१६१४ प्ररूपण, असुरकुमारों में उत्पन्न होने वाले संख्यात वर्षायुष्क संज्ञी पंचेन्द्रिय तिर्यंचयोनिकों के उत्पातादि बीस द्वारों का प्ररूपण, असुरकुमारों में उत्पन्न होने वाले असंख्यात वर्षायुष्क संनी मनुष्यों में उत्पातादि बीस द्वारों का प्ररूपण, असुरकुमारों में उत्पन्न होने वाले पर्याप्त संख्यात वर्षायुष्क संज्ञी मनुष्यों में उत्पातादि बीस द्वारों का प्ररूपण, गति की अपेक्षा नागकुमारों के उपपात का प्ररूपण, नागकुमारों में उत्पन्न होने वाले असंख्यात वर्षायुष्क संज्ञी पंचेन्द्रिय तिर्यंचयोनिकों के उत्पातादि बीस द्वारों का प्ररूपण, नागकुमारों में उत्पन्न होने वाले पर्याप्त संख्यात वर्षायुष्क संज्ञी पंचेन्द्रिय तिर्यंचयोनिकों में उत्पातादि बीस द्वारों १६१४-१६१६ १६१६-१६१७ १६१७-१६१९ १६१९-१६२० १६२०-१६२१ १६२१-१६२२ १६२२ १६२२-१६२५ १६२५ १६२५-१६२६ १६२६ १६२७ १६२७-१६२८ १६२८ १६२८-१६२९ १६२९ १६२९ १६३० १६३०-१६३२ १६३२-१६३४ १६३४ १६३४ १६३४ १६३५-१६३६ १६३७ १६३७ १६३७-१६३८ १६३८ १६३८-१६३९ १६३९ १६३९-१६४० १६४० १६४०-१६४१ १६४१-१६४२
SR No.090160
Book TitleDravyanuyoga Part 3
Original Sutra AuthorN/A
AuthorKanhaiyalal Maharaj & Others
PublisherAgam Anuyog Prakashan
Publication Year1995
Total Pages670
LanguageHindi, Prakrit
ClassificationBook_Devnagari, Metaphysics, Agam, Canon, & agam_related_other_literature
File Size26 MB
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