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________________ SILPA HEART अर्यासागर [4 ] ESHWARPATHAMPCASHAIRATEprma तदा तेन समः कालो वद्धिहासयतोभवेत । रूप्याद्विम्लेच्छखण्डेष शेषकालश्च न क्वचित् ।। पूर्वापरविदेहेष द्विपंच स्वर्णपर्वते । चतुर्थकाल एवैको मोक्षमार्ग प्रवर्तकः ॥३५८।। । देवोत्तरकुरुष्वेव द्विपंच भोगभूमिष । दक्षिणोत्तरयो मेरौ प्रथमः काल ऊर्जितः ॥३५६।। । हरिरम्यकवर्षेषु मध्यमा भोगभूमिषु ।वृद्धिह्रासातिगः कालो द्वितीयो मध्यमो मतः ॥३६०॥ । हैमवताख्यहरण्यवत्क्षेत्रेषु ।द्वपंचसु । तृतीयः शाश्वतःकालो जघन्यभोगभूमिषु ।।३६१॥ तिर्यग्द्वीपेष्वसंख्येषु मानुषोत्तरपर्वतात् । वाह्यस्थेष्वन्तरेस्थेषु नागेन्द्रशैलतःस्फुटम् ॥३६२॥ । जघन्य भोगभूयागस्थितियुक्तेषु वर्तते । जघन्योभोगभूकर्ता नित्यकालस्तृतीयकः ॥३६३॥ नागेंद्रपर्वताबाह्य स्वयंभूरमणाणेवे । स्वयंभूरमणद्वीपाद्धे कालः पंचमोऽव्ययः ॥२६॥ इस प्रकार कालका निर्णय है। २२५-चर्चा दोसौ पच्चीसवीं प्रश्न-~-यह जीव पात्रदानसे तो उत्कृष्ट वा मध्यमादिक भोगभूमियोंमें जन्म लेता है परन्तु कुभोगभूमियोंमें किस कारणसे उत्पन्न होता है ? समाधान- जो कुमार्गगामो अपने मायाजालसे आहतो दीक्षा धारण करते हैं, जो बिना आलोचनाके । तप वा व्रत पालन करते हैं जो परत्रिवाहकरण आदि पापरूप कार्योकी अनुमोदना करते हैं । जो ज्योतिष, मंत्र, तन्त्र वा वैद्यक कर्मके द्वारा अपनी आजीविका करते है, पंचाग्नि तप करते हैं, जो सम्यग्दर्शन, ज्ञान, चारित्रकी विराधना करते हैं, मिथ्या तप और मिथ्याज्ञान धारण करते हैं, जो खोटे भावोंसे नीच कुलों में भी मौन रहित भोजन करते हैं, जो सूतक, पातक वा रजस्वलादिके सूप्तकोंमें आहारादिक ग्रहण करते हैं, जो अभक्ष्य आदि सदोष भोजनोंको भी कर जाते हैं तथा इनके सिवाय और भी कितने ही प्रकारके शिथिलाचारोंको धारण करते हैं, जो इन्द्रियोंके लंपटी और शुद्धता रहित हैं ऐसे जो मायापारी साधु हैं वे सब कुपात्र कहलाते हैं। जैनियोंके भेषको धारण करते हुये भी जो ऊपर लिखे निन कार्य करते हैं ऐसे शिथिलाचारो साधु श्वेतांबर वा अन्य लिंगको धारण करनेवाले मानी मायायो साधु सब कुपात्र कहलाते हैं। जो मूर्ख इन कुपात्रोंको पात्र E RTeamssks
SR No.090116
Book TitleCharcha Sagar
Original Sutra AuthorN/A
AuthorChampalal Pandit
PublisherBharat Varshiya Anekant Vidwat Parishad
Publication Year
Total Pages597
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari & Principle
File Size17 MB
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