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मनोरथ सिद्ध करने वाला होता है ।
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आरोहण करने
आरोहण वृष, गाय, हाथी, मन्दिर, वृक्ष, प्रासाद और पर्वत पर स्वय हुए देखना या दूसरे को आरोहित देखना अर्थ-लाभ सूचक है। होना है और रोगी की मृत्यु
कपास काग देखने से स्वरूप व्यक्ति
होती है। दूसरे को देते हुए काम देखना
प्रद है ।
कवन्ध
नाचते हुए छीन कबन्ध देखने से आधि व्याधि और धरा का लाभ
होता है । वराहमिहिर के मत मृत्य होती है।
कलश – कलश देखने से धन, आरोग्य और पुत्र की प्राप्ति होती है। कन्दगी देखने से गृह में कन्या उत्पन्न होती है ।
भद्रबाहुसंहिता
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कलह कलह एवं लड़ाई-झगड़े देखने से स्वस्थ व्यक्ति रुग्ण होता है और रोगी की मृत्य हावी है।
काक स्वप्न में काक, सिद्ध, उत्तु और ተኾ जिसे चारों ओर से घेर कर त्रास उत्पन्न करें तो मृत्यु और अन्य को द्वारा उपन करते हुए देखे तो अन्य की मृत्यु होती है
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कुमारी कुमारी कन्या को देखने से अर्थनाश एवं सन्तान की प्राप्ति होती है। परामिहिर के गत से कुमारी कन्या के साथ आलियन करता देखने क एवं धनक्षय होता है।
कूप --- मन्ये जल या पंकजाने कूप के अन्दर गिरना या डूबना देखने से स्वस्थ व्यक्ति रोगी और रोगी की मृत्यु होती है। तालाब या नदी में प्रवेश करना देखने गे रोगी को मरण तुपकट होता है।
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वृहस्पति के मत से पुत्र
श्रौर- नाई के द्वारा स्वयं अपनी वा दूसरे की हजामत करना देखने में कष्ट के साथ-साथ धन और पुत्र का नाथ होता है। गणपति देव के मत से मातापिता की मुरमाडे मन से भार के साथ माता-पिता की मृत्यु और होता है। अत्यन्त आय के गाव मे मेलते हुए देखना दुस्वप्न है । फल बृहस्पति के मन से करना एवं करना ब्रह्मवैवर्त पुराण के मन में धन-नाथ, ज्येष्ठ पुत्र या धन्या का मरण और भार्या को कष्ट होता है | नारद के मन में सन्तान-नानी के गत से धन-क्षय के साथ
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अपीति होती है।
गमन दक्षिण दिशा की ओर मन करता देखने से धन नाश के साथ कष्ट, पश्चिम दिशा हो और मत करना देखने मे अपमान, उत्तर दिशा की जोर गमन करना देखने ने और पूर्व दिशा की ओर गमन करता देखने में
धन प्राप्ति होती है।
- उच्च स्थान से वार गर्त में गिर जाता देखने में रोगी की