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________________ आगम संबंधी साहित्य [भाग-3] नन्दी-आदि-सप्तसूत्राणि-गाथा-अकारादि [ए-कार ] पूज्य आगमोद्धारकरी संशोधित: मुनि दीपरत्नसागरेण पुन: संकलित: नन्दी-आदि गाथा-अकारादिः (आगम-संबंधी-साहित्य) प्रत + 4 सूत्रांक यहां देखीए ++ + C+ + दीप क्रमांक के लिए देखीए + |एगंत० अचित्तं पडिलेहि ५ १४५*। एगंते. आलोए तिणि एगंतपसत्था तिणि ७ २३४ एगतेण निसेहो जोगेम एगंतमणावाए अचित्ते ३ १३६१ एगते व विवित्ते एगतमणावाए ५९६ एग पदुच हिट्ठा तहेव एगंतमणा० दुण्णि ४ ५९७ | एग पायं जिणकप्पियाण एगतमणा० अचित्ते ६०५ एगागि गिलाणमि एगंतमणावाए ७ ११२५७ एगागिसमुसिगा एर्गतमवकमणं ६ २११ पगा जोअणकोडी पगतमवकमित्ता ५ १४०*एगा य होइ रयणी एगतरत्ते रुहरसि ७ ११९४७ एगासणं. . एगंतरत्तो गंधे ७ १२०७२ एगा हिरण्ण. एगंतरत्तो रुइरंसि . ११८१७ एगा हिरण्णकोडी एगतरमायाम . १६२५% एगुणतीस आवस्सग० एगंतसिणिद्धमी पोरिसिमेगं ६ १३+ | एगूणवन्नऽहोरत्ता ३ १३६३ |एगे जिए जिया पंच ५६ एगेण अणेगाई ५४२ एगेण वावि एस ८९९ एगेव मीसएसु ४ ६८० एगेंदियनोएगेंदिया ४ ७३ एगो अ सत्तमाए ४ १०३+ एगो काओ दुहा जाओ ३ ९३२ एगो देवस्स भागो ३ . ९७३ एगो पडइ पासेणं ५३ एगो भगर्व वीरो ८२+ एगो भयवं वीरो ३ २१७ एगो मूलंपि हारिता - २५ एगो व अणेगो वा ७ १५१४* एताइ अकुव्वतो 'ur-MGMMMMMM. + %AAAAAKRICAIGAD + + 'सवृत्तिक आगम सुत्ताणि ~277
SR No.035073
Book TitleAagam Sambandhi Saahitya 03 Aagam Sootradi Akaaraadi
Original Sutra AuthorN/A
AuthorAnandsagarsuri, Dipratnasagar, Deepratnasagar
PublisherParam Anand Shwe Mu Pu Jain Sangh Paldi Ahmedabad
Publication Year2017
Total Pages431
LanguagePrakrit, Sanskrit
ClassificationBook_Devnagari & agam_index
File Size92 MB
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