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४८१
६३७
मूलाका: ८६८ + ११४ भगवती (अगसूत्रस्य विषयानुक्रम
दीप-अनुक्रमा: १०८७ मलांक: | विषय:
पृष्ठांक: मलांक: |
विषय: पृष्ठांक: मूलांक:
विषय:
पृष्ठांक: .....शतकं - १४ ... .....शतक - १७
.....शतकं- १९ ६१५ | उद्देशक: ०६ आहार ७०६ | उद्देशक: ०४ क्रिया
४७० उद्देशक: ०८ निर्वृत्ति ६१८ | उद्देशक: ०७ संश्लिष्ट
| उद्देशका: ६-११ पृथ्व्यादिकाय
| उद्देशक: ०९ करण ६२४ | उद्देशक: ०८ अंतर ७१५ | उद्देशक: १२ एकेन्द्रिय
७७५ | उद्देशक: १० व्यंतर ६३१ | उद्देशक: ०९ अनगार ७१६ | उद्देशका:१३-१७ नागादिकुमार
शतक - २० ६३६ | उद्देशक: १० केवली
शतकं - १८
७७९ | उद्देशक: ०१ बेईन्द्रिय शतकं - १५ | उद्देशक: ०१ प्रथम
| उद्देशक: ०२ आकाश | --गोशालक
હરક | | उद्देशक: ०२ विशाखा
७८३ उद्देशक: ०३ प्राणवध शतकं - १६ ७२८ | उद्देशक: ०३ माकंदीपत्र
४८५ | उद्देशक: ०४ उपचय ६६० उद्देशक: ०१ अधिकरण ७३३ | उद्देशक: ०४ प्राणातिपात
७८६ | उद्देशक: ०५ परमाण ६६६ । उद्देशक: ०२ जरा ७३६ उद्देशक: ०५ असुरकुमार
७८९ उद्देशक: ०६ अंतर ६७० | उद्देशक: ०३ कर्म ७४० | उद्देशक: ०६ गुडवर्णादि
७९२ उद्देशक: ०७ बन्ध ६७२ | उद्देशक: ०४ जावंतिय ७४२ | उद्देशक: ०७ केवली
७९३ | उद्देशक: ०८ भूमि ६७३ | उद्देशक: ०५ गंगदत्त ७४९ | उद्देशक: ०८ अनगारक्रिया
८०१ उद्देशक: ०९ चारण ६७७ | उद्देशक: ०६ स्वप्न ७५० | उद्देशक: ०९ भव्यद्रव्य
८०३ | उद्देशक: १० आय ૬૮૨ | उद्देशक: ०७ उपयोग ७५३ उद्देशक: १० सोमिल
शतक - २१ ६८३ | उद्देशक: ०८ लोक
| शतकं - १९.....
| वर्ग: १ शाली-आदि ६८७ उद्देशक: ०९ बलिन्द्र ७५८ | उद्देशक: ०१ लेश्या
| वर्गा:२-८ मूलअलसी, वंश, ६८८ उद्देशक: १० अवधि ७६० उद्देशक: ०२ गर्भ
इक्षु,सेडिय, अमरुह, तुलसी ६८९ उद्देशक: ११-१४ दविपादि० ७६१ | उद्देशक: ०३ पृथ्वी
शतक - २२ शतकं- १७..... ७६५ | उद्देशक: ०४ महाश्रव
८२२ वर्गा:१-६ताड़,निम्ब,अगस्ति ६९३ | उद्देशक: ०१ कुंजर ७६६ उद्देशक: ०५ चरम
| बैंगन, सिरियक,पुष्पकलिका ६९९ | उद्देशक: ०२ संयत ७६८ | उद्देशक: ०६ दवीप
• शतक - २३ ७०३ | उद्देशक: ०३ शैलेशी ७६९ | उद्देशक: ०७ भवन
८२९ वर्गा:१-४आलू,लोही,आय,पाठा मुनि दीपरत्नसागरेण संकलित......आगमसूत्र-[०५], अंग सूत्र-[०५] "भगवती' मूलं एवं अभयदेवसूरि-रचित वृत्ति:
८०६
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