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अर्द्ध मूल्य
1) चार आना
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श्री जैन दर्शन में श्वेताम्बर तेरह - पन्थ
सम्पादक - पं० शंकरप्रसादजी दीक्षित
प्रकाशक – बालचन्द्र श्रीश्रीमाल मंत्री - श्री साधुमार्गी जैन
पूज्य श्री हुक्मीचन्दजी महाराज की सम्प्रदाय
भाषा
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हितेच्छु श्रावक मण्डल, रतलाम ( मालवा )
मुद्रक - दि डायमण्ड जुबिली (जैन) प्रेस, अजमेर.
श्री वीर सं० २४६९ विक्रम सं० १९९९
ईस्वी सन् १९४२
प्रथमावृत्ति
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