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________________ 10. (७) सातवां भिक्षुप्रतिमा नामका अध्ययन, (१) प्रथम एक मासकी भिक्षु प्रतिमा. (२) दो मासकी भिक्षु प्रतिमा. (३) तीन मासकी भिक्षु प्रतिमा. (४) च्यार मासकी भिक्षु प्रतिमा. (५) पांच मासकी भिक्षु प्रतिमा. (६) छे मासकी भिक्षु प्रतिमा. (७) सात मासकी भिनु प्रतिमा. (८) प्रथम सात अहोरात्रिकी आठवी भिक्षु प्रतिमा. (8) दूसरी सात अहोरात्रिकी नौवी भिक्षु प्रतिमा. (१०) तीसरी सात अहोरातकी दशवी भिक्षु प्रतिमा. (११) अहोरातकी इग्यारवी भिक्षु प्रतिमा. (१२) एक रात्रिकी बारहवी मिनु प्रतिमा. (१) एक मासकी प्रतिमा स्वीकार करनेवाले मुनिको एक मास तक अपने शरीरकी चिंता (संरक्षण ) करना नहीं कल्पै. जो कोइ देव, मनुष्य, तिथंच, संबन्धी परीषह उत्पन्न हो, उसे सम्यक् प्रकारसे सहन करना चाहिये. . (२) मासिक प्रतिमा स्वीकार किये हुवे मुनिको प्रतिदिन एक दात भोजनकी, एक दात आहारकी लेना कल्पै. वह भी अज्ञात कुलसे शुद्ध निर्दोष लेना, आहार ऐसा लेना कि जिसको बहुतसे दुपद, चतुष्पद, श्रमण, ब्राह्मण, अतिथि, कृपण, मंगा भी नहीं इच्छता हो, वह भी एकला भोजन करता हो वहांसे लेना कल्पै. परन्तु दोय, तीन, च्यार, पांच या बहुतसे भोजन करते हो, वहांसे लेना नहीं
SR No.034234
Book TitleShighra Bodh Part 16 To 20
Original Sutra AuthorN/A
AuthorGyansundar
PublisherRavatmal Bhabhutmal Shah
Publication Year1922
Total Pages424
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size11 MB
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