________________ (233) / अथ श्री महावीर स्वामीनो पाळणो। सहियर वीरप्रन्नुनो जन्मोत्सव गावू रंगसुं, एतोगातां नवनवकेरापातकजाय, जगगुरु जिनवर जन्म जाणी जावे तिहां, प्रणमी माता नंदनलेश् हरखाय स० वी० // 1 // जगगुरु मेरु शिखरपर स्नात्रकरे सुरपति मलि, गावे इन्त्राणीमिल प्रनु गुणग्रामरसाल, वाजिनवाजै नाटिकहोवे नानानातिना, देवदेवीमिल स्तुतिकरै सुविशाल स० ॥२॥ज स्नानकरीने माता पासे लाविया, पालणेमें पधराव्या हरखी जगनानाथ, त्रिशला माता आनंद जरी दुलरावती, सुतगुणगाती निसदिनसहियरसाथ, स० // 3 // प्रनुजी पालणियेमें रमतां सुर सेवाकरे, इन्त्राणीमिल मोतियनचोक पुराय, ज० सुरकुमरी अतिरंगे नाटकनाचती, ढुंबना लेती उम उम पग उमकाय स० // 4 // जा जगजीवन जगपालक प्रनु जीवो सदा, एतो क्रोमदिवाली रहसो दीन दयाल, मारा प्राणजीवन प्रनु प्यारा तमने वीन,, नंदन वसजो मारा मनमामां चितलाय, स० ॥५॥ज माता त्रिशलाराणी नंदननो मुखजोवती, करती चुंबन वारणा निज हियझेमांलगाय, नंदन तारा गुणथी हुँ जगमां मोटीथई, माहरे तुहिज त्राता ताहरो सरणलेवाय स० ॥६॥नंदन मोसालेथी सुंखमीले आवसे, तेतो तुज मुख जोई थासे परम पवित्र, एतो चेमो राजा मनमां आनंदधारतो, तुज नानमीया मामी मलसे मित्र, स० // 7 // नंदन तुजगुण गाऊं रंगे रमाउँ हेजथी, तुतो इन्जाणीने वाहलो घणो सनाथ, नंदन ताहरापितातो सदु जगमां परसिया , जेनो नाम सिधारथ थयो तुज थी