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________________ 167 श्वेतनिरूपणम् 16 श्वेताम्बरः 78 श्वेताम्बराचार्यः 90, 91 संयमः 48 संवरः 81 सखीभटः 90 सगरः 47, 52, 61, 74 सङ्ग्रहः 47 सज्जनः 99 संज्ञा 45 सती 88 सत्यभामा 88 सदुक्तिकर्णामृतम् 142 सनत्कुमारः 89 समस्या 100, 101 समितयः 45 समुद्रविजयः 81 समुद्राः 46 सम्वरणः 63 सरस्वती 62 सरस् 99, 100 सरोरुहम् 100, 101 सर्वमङ्गला 61, 88 सर्वोपमा 76 सर्वोपमार्थबीजम् 104 सांख्यम् 99 साधुधर्मः 47 सामान्यः 7 साल्वः 89 सावित्री 74 सिंहपुरम् 81 सिंहसेनः 81 सिङ्घलः 52 सिद्धाः 48, 87 सिद्धार्थः 81, 84 सिद्धार्थी 61, 81 सिन्दूरिका 70 सिन्धुः 52 सीता 135, 150 सुगतः 70 सुग्रीवः 19, 81 सुज्येष्ठा 79 सुतनुः 70 सुतारा 74 सुदर्शनम् 81 सुद्युम्नः 62 सुधर्मा 76 सुनन्दा 75 सुपार्श्वः 60 सुबन्धुः 104 अ सुभद्रा 61, 71, 79 सुभाजनम् 100, 101 सुभाषितरत्नकोशः 143, 146 सुभाषितरत्नभाण्डागारः 135 सुभाषितावली 138, 141, 143 सुभूमः 47, 74 सुमङ्गला 61, 75 22
SR No.032755
Book TitleKavyashiksha
Original Sutra AuthorN/A
AuthorVinaychandrasuri, Hariprasad G Shastri
PublisherL D Indology Ahmedabad
Publication Year1964
Total Pages228
LanguageHindi, Sanskrit
ClassificationBook_Devnagari
File Size15 MB
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