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आठवाँ अधिवेशन
आठवाँ अधिवेशन दिसम्बर १६.६ में श्रीयुत् रूपचन्द जी रईस सहारनपुर के सभापतित्व में भारत राजधानी कलकत्ता नगर में सम्पन्न हुआ। इस अधिवेशन में सखीचन्दजी डिप्टी सुपरिटेन्डेन्ट पुलीस भागलपुर जीवदया प्रचार मन्त्री निर्वाचित किये गए । तब से बराबर यह जीव दया विभाग के कार्य की निगरानी कर रहे हैं । रायबहादुर को पदवी और कैसर हिन्द पदक प्राप्त करके डिप्टी इस्पेक्टर जेनरल के
ओहदे से पेंशल ली। गत अगस्त में इनका स्वर्गवास हुआ। खंडवा निवासी माणिकचन्द वकील ऐसोसियेशन के प्रधान मन्त्री निर्वाचित हुए । इस अधिवेशन में करीब ४०० प्रतिष्ठित सज्जन बम्बई, शोलापुर , कानपुर, लखनऊ, मुरादाबाद, नजीबाबाद, मेरठ, अम्बाला, बिजनौर, दिल्ली, अमृतसर, सोनीपत, खंडवा, मुशिदाबाद, देवबंद, हिसार, अजमेर, अलाहाबाद, जयपुर, सहारनपुर, श्रारा, भागलपुर, श्रादि से पधारे थे।
उल्लेखनीय प्रस्ताव यह थे- . .
१. जैन जाति में स्त्री शिक्षा प्रचार के वास्ते निम्न उपाय किये नावें
(१) स्थानीय कन्या शालाओं की स्थापना, (२) अध्यापिकाओं की तैयारी, (३) परीक्षा कमेटी (४) प्रत्येक सदस्य अपनी पत्नी, बहन, बेटी को पढ़ावे, (५) पारितोषक और छात्रवृत्ति, (६) पठनीय पुस्तक निर्माण, (७) प्रौढ़ महिलाओं को उनके घर पर शिक्षा प्रदान, (८) महिला शास्त्र-सभा, (६) महिला कारीगरी को प्रदर्शिनी,