SearchBrowseAboutContactDonate
Page Preview
Page 130
Loading...
Download File
Download File
Page Text
________________ RASITTRAKUTA GRANT OF DANTIDURGA-KHADGAVALONA-SAKA 675 सद सादिर या टया सदय विपी वानरूपका पाहा (वाट समेवर राय । ८६ है नया गाधी कमी पनि मगर येय सही नया का स.ये ति विम || रा पंतिमाम वाटाघा परि पाहा पटाता से या यदि किया। पर सपना का मन क काल संदल व सरसराही स ब १५ पर। का सब पापा राज तसं माउस परममित माताविकाता मसे प य मा कि त मुटीमापार ऋग क . जह को दिन में मामला हात हा सार हाय र सा( दरित पादायक र निवि क म यो ठायतमापूर ना वाटय । राय वेद बाग या पसाय अधिकार व लवकप वन विमिरा रुप (पाटावड य क पवाद । स तासातपय साप पतितिनियतामा परी ा प लिदा लसान मा यति पाल नी यान, पनिर, टाया र सादा
SR No.032503
Book TitleIndian Antiquary Vol 11
Original Sutra AuthorN/A
AuthorJas Burgess
PublisherSwati Publications
Publication Year1984
Total Pages396
LanguageEnglish
ClassificationBook_English
File Size19 MB
Copyright © Jain Education International. All rights reserved. | Privacy Policy