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31
41
43
45
47
49
51
10:
53
11
54
12
55
बाद एक एक अंगुल बढ़ाते हुए पचास हाथ के प्रासाद में 93 अंगुल की खड़ी मूर्ति
रखें।
प्रासाद के हाथ के मान से बैठी मूर्ति का मान
एक हाथ से चार हाथ तक के प्रासाद में प्रत्येक हाथ पर छह छह अंगुल की वृद्धि करके उस प्रमाण से बैठी मूर्ति बनवायें। फिर पांच से दस हाथ तक के प्रासाद में प्रत्येक हाथ पर तीन तीन अंगुल की वृद्धि करके उस प्रमाण की मूर्ति रखें और ग्यारह हाथ से पचास हाथ तक के प्रासाद में प्रत्येक हाथ पर एक एक अंगुल की वृद्धि करके उस प्रमाण की मूर्ति करें, बनवायें ।
प्रासाद के हाथ
1
2
3
4
5
6
जन-जन का
3
4
5
6
7
8
9
8
9
10
11
12
मूर्ति के अंगुल
6
12
18
24
27
30
32
36
39
42
43
44
78