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________________ शिक्षा मंत्रवादी और बड़े पुरुषों के साथ विरोध न करना चाहिए। 124 अपना पराक्रम लक्ष्मी बुद्धि पक्ष और सामग्री को विना देखे, विवाद या अभिमान से किसी की बराबरी न करनी चाहिए। 125 अपने इष्ट धर्म के अनुसार, जो नित्य नियम अंगीकार किया हो, उसे निरन्तर पालन करना चाहिए। 126 यदि कोई मनुष्य गुण की या हित की बात कहे तो आदर से सुन कर ग्रहण कर लेना चाहिए, और उसका उपकार मानना चाहिए। 127 जिस गांव के लोगों से या राजकर्मचारियों से विरोध हो, वहां न रहना चाहिए। 128 अपनी आत्मा को संसार केसंयोग वियोग तथा जन्म मरण के दुःखों से मुक्त करने के लिए सत्य मार्ग की खोज अवश्य करते रहना चाहिए। 129 ऐसे आदमी के पास न जाना चाहिए जो बुरी सलाह दे। 130 मामले-मुकद्दमें-के मार्ग में मत पडो, जिद्द
SR No.023532
Book TitleNiti Shiksha Sangraha Part 02
Original Sutra AuthorN/A
AuthorBherodan Jethmal Sethiya
PublisherBherodan Jethmal Sethiya
Publication Year1927
Total Pages630
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size35 MB
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