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________________ १८२ भारतीय संवतों का इतिहास विक्रम, शक व गुप्त सम्वतों की गणना पद्धति में कितनी समानता है इसका प्रमाण फ्लीट द्वारा दी गयी इस सारणी से मिल जाता है । इस सारणी में शक, विक्रम, गुप्त एवं ईसाई सम्वतों का तुलनात्मक विवरण दिया गया है । इससे स्पष्ट है कि शक का ११८६, विक्रम का १३२१, गुप्त का ६४४ तथा ईसाई का १२६३६४ वर्ष बराबर है। शक, विक्रम तथ गुप्त तीनों ही उत्तरी भारत में पूणिमान्त तथा दक्षिणी भारत में अमान्त हैं। चैत्र, वैशाख, ज्येष्ठ, आषाढ़ आदि १२ महीने हैं तथा माह के शुक्ल व कृष्ण दो पक्ष हैं । ये सम्वत् चन्द्र सौर्य की मिश्रित पद्धति पर आधारित हैं, वर्ष सौर्यमान व माह चन्द्रमान से सम्बन्धित है । विक्रम, शक एवं गुप्त-वल्लभी वर्षों की तुलनात्मक सारणी उत्तरी भारत मास तथा पक्ष दक्षिणी भारत पूणिमान्त अमान्त 'शुक्ल पक्ष वैशाख {कृष्ण पक्ष । वैशाख ज्येष्ठ शुक्ल पक्ष कृष्ण पक्ष शुक्ल पक्ष आषाढ़ {कृष्ण पक्ष ज्येष्ठ शुक्ल पक्ष शक संवत् ११८६ श्रावण कृष्ण पक्ष }आषाढ़ 'शुक्ल पक्ष विक्रम संवत् १:२१ भाद्रपद {कृष्ण पक्ष श्रावण शुक्ल पक्ष भाद्रपद आश्विन (कृष्ण पक्ष 'शुक्ल पक्ष आश्विन गुप्त वल्लभी संवत् ६४४ शक संवत् विक्रम संवत् | १८८६ ई० । १३२० कार्तिक ऋष्ण पक्ष शुक्ल पक्ष मार्गशीर्ष कृष्ण पक्ष कार्तिक ई० सन् १२६३-६४ | ईस्वी सन् । १२६३-६४ । १२६२-६३ शुक्ल कृष्ण पक्ष पोष }मार्गशीर्ष शुक्ल पक्ष पौष माघ कृष्ण शुक्ल पक्ष । फाल्गुन शुक्ल पक्ष माघ फाल्गुन कृष्ण पक्ष फाल्गुन
SR No.023417
Book TitleBharatiya Samvato Ka Itihas
Original Sutra AuthorN/A
AuthorAparna Sharma
PublisherS S Publishers
Publication Year1994
Total Pages270
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size18 MB
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