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(xxv)
अष्टम अध्याय
रूप विचार
269-329
लिंग परिवर्तन
271-272
वचन
272-273
273-287
278-279
279-281
281 282-284
285 285-287
287-298
शब्द रूप अकारान्त शब्दों के रूप इकारान्त तथा उकारान्त रूप स्त्रीलिंग स्त्रीलिंग के विभिक्त चिह्न ईकारान्त स्त्रीलिंग के नाम रूप नपुंसक लिंग परसर्ग (1) करण परसर्ग-'सहुँ' (2) सम्प्रदान परसर्ग-केहिं, रेसिं, तेहिं, तण आदि (3) अपादान परसर्ग-होन्तर (4) ट्ठिउ' परसर्ग (5) संबन्ध परसर्ग-केरअ, केर आदि (6) अधिकरण परसर्ग (7) 'केहि परसर्ग सर्वनाम सार्वनामिक विशेषण संदर्भ
299-324
324-326
326-329