SearchBrowseAboutContactDonate
Page Preview
Page 212
Loading...
Download File
Download File
Page Text
________________ 188 शूरसेन जनपद में जैन धर्म का विकास 123.सिंह, अशोक कुमार 124.हण्डीकी, के.के. 125.हस्तीमल 126.हर्टल, हर्बर्ट 127.हैवेल, ई.बी. - ‘उत्तर प्रदेश के प्राचीनतम् नगर; नई दिल्ली, 1988 - यशस्तिलक एण्ड इण्डियन कल्चर, शोलापुर, 1949 - जैन धर्म का मौलिक इतिहास, जयपुर, 1971 - डाई कुषाण – होरिजोण्टे इन ह्यूगल वान, सोंख (मथुरा) इण्डोंलोजेण्टांग्ग, 1971, बिज्बेडेन, 1973 - सम रिजल्टस ऑव दि एक्शकेवेशन्स ऐट सोंख : ए प्रीलिमनरी रिर्पोट जर्मन स्कालर्स ऑन इण्डिया, भाग-2, नई दिल्ली, 1976 - 'इण्डियन स्कल्पचर एण्ड पेंटिंग', द्वितीय संस्करण, लन्दन, 1928 - जैन संस्कृति की विशेषताएँ, राजस्थान, 1942 - श्रीवत्स : भारतीय कला का एक मांगलिक प्रतीक, इलाहाबाद, 1983 - भारतीय कला प्रतीक, इलाहाबाद, 1989 - सम इन्टरेस्टिंग जैन स्कल्पचर्स इन दि स्टेट म्यूजियम, लखनऊ, 1972 - ट्रेड एण्ड कॉमर्स इन ऐंश्येन्ट इण्डिया, वाराणसी, 1983 - श्रीवत्स, इलाहाबाद, 1983 - मथुरा – दि कल्चरल हेरिटेज, दिल्ली 1989 128.त्रिपाठी, राममूर्ति 129.श्रीवास्तव, ए. एल. 130.श्रीवास्तव, वी. एन. 131.श्रीवास्तव, बी. 132.श्रीवास्तव, अशर्फीलाल 133.श्रीनिवासन, डी.एम. (सं.)
SR No.022668
Book TitleShursen Janpad Me Jain Dharm Ka Vikas
Original Sutra AuthorN/A
AuthorSangita Sinh
PublisherResearch India Press
Publication Year2014
Total Pages244
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size34 MB
Copyright © Jain Education International. All rights reserved. | Privacy Policy