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लघुशतपदी. ( २०७) दिने चौदश घडी ५९ नी होय, बीजे दिने पूनम घडी ६०नी होय अने त्रीने दिने पूनम घडी ३नी होय तो औदायिक तिथिना व्यवहारे जेने छठ तप कर होय ते केम करी शकशे?
वळी जेओ केवळ पडिकमणा टाणेज वर्त्तती तिथि ले छे तेमने पण केटलोक वांधो पडे छे. - ते माटे उत्तम पक्ष ए छे के सूत्रोक्त तिथिपातने बहुमत करी टीपणाना अनुसारे सात के आठ दिने आठम, अने चौद के पं. दर दिवसे पाखी कराय तो सूत्र पण प्रमाण रहे अने पूर्वोक्त विसंस्थुलता पण नहि आवे.
कदाच कोइ कहेशे के एम करतां पण कोइ वेला सातममा आठम, अने तेरसमां चौदश आवी जवाथी विसंस्थुलता रहेज के तेने ए उत्तर छे के सूत्रने प्रमाण करतां अमने टीपणा साथे वि. संस्थुलता आवे तेमां शो दोष छे ? . __ वळी ए अर्थे “आरओ कप्पइ" एटले आगल कल्पे ए युक्ति पण छे.
वळी तमो पोते विष्टि तथा दिकशूलादि अन्यदिने गणो को अने आठमना धर्मकृत्य नोमना दिने करो छो. अने तेम छा ओलंबो अपने आपो छो के तमो लग्नादिक कार्य टीपणाथी करो छो अने पर्वतिथिओ तेम नथी करता. ए ओलंभो शा कामनो?
विचार ३८ मो. . कोइ बोले के अभिवर्द्धित वर्षे अवस्थान निश्चय वीसदाडे करवो पण पडिकमणुं तो भादरवा सुदि पांचमेज कर. तेणे जाणq घटे छे के जे गृहिज्ञात अवस्थान निश्चय छे तेज मुख्य वृत्तिए