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संगणक-जनित व्यावहारिक संस्कृत-धातु-रूपावली कृपू (सामर्थ्य, भ्वादिगण, आत्मने, लट्)
कल्पिष्यते कल्पिष्येते कल्पिष्यन्ते कल्पिष्यसे कल्पिष्येथे कल्पिष्यध्वे कल्पिष्ये कल्पिष्यावहे
कल्पिष्यामहे कृपू (सामर्थ्य, भ्वादिगण, आत्मने, आशीर्लिङ्)
कल्पिषीष्ट कल्पिषीयास्ताम् कल्पिषीरन् कल्पिषीष्ठाः कल्पिषीयास्थाम कल्पिषीध्वम्
कल्पिषीय कल्पिषीवहि कल्पिषीमहि कृपू (सामर्थ्य, भ्वादिगण, आत्मने, लुङ्)
अकल्पिष्ट अकल्पिषाताम् अकल्पिषत अकल्पिष्टाः अकल्पिषाढाम् अकल्पिध्वम्
अकल्पिषि अकल्पिष्वहि अकल्पिष्महि कृपू (सामर्थ्य, भ्वादिगण, आत्मने, लुङ्)
अकल्पिष्यत अकल्पिष्येताम् अकल्पिष्यन्त अकल्पिष्यथाः अकल्पिष्येथाम अकल्पिष्यध्वम
अकल्पिष्ये अकल्पिष्यावहि अकल्पिष्यामहि कृपि (अवकल्कने, चुरादिगण, परस्मै, लट्) कल्पयति कल्पयतः
कल्पयन्ति कल्पयसि कल्पयथः
कल्पयथ कल्पयामि कल्पयावः कृपि (अवकल्कने, चुरादिगण, परस्मै, लोट्) कल्पयतु कल्पयताम्
कल्पयन्तु कल्पय कल्पयतम
कल्पयत कल्पयानि कल्पयाव
कल्पयाम कृपि (अवकल्कने, चुरादिगण, परस्मै, लङ्)
अकल्पयत् अकल्पयताम् अकल्पयन् अकल्पयः
अकल्पयतम् अकल्पयत अकल्पयम् अकल्पयाव
कल्पयामः
अकल्पयाम
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