________________
Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra
www.kobatirth.org
Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir
॥ अहम् ॥ नमोनमः श्री प्रभुधर्मसूरये। दर्शन-पण्डित-प्रत्युत्तरम्
-
भूमशोधकः
कर्ता . ग्यायविशारद-न्यायतीर्थ-उपाध्याय श्री मंगलविजयजी महाराज
प्रकाशक
हेमचन्द शवचन्द शाह
कलकत्ता।
प्रथमावृत्तिः
१००० धर्म सं० १६
वीर सं० २४६७
विक्रम सं० १६६७
For Private And Personal Use Only