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________________ Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra 1682 www.kobatirth.org स्वराज्य प्राप्तये धीमान् सत्याग्रह धुरन्धरः, good capital, • सुंदर राज्य । स्वरित, सुरिअ, वि० उच्चरित, ध्वनि युक्त, sounded, • स्वर्ग सम्बन्धी, pitched, related of heaven. • स्वरु, सरु, पुं० धूप, sunshine व्रज, बाण, a thunderbolt, an arrow. स्वरुचा, सरुचा, स्त्री० अपनी कान्ति, self light. स्वरूपः सरुखो, पुं० अपना स्वरूप, आत्म रूप, self nature. स्वरूपकथनम्, सरूव कधणं, नपुं० सम्यक् कथा कथन, thought of good story. स्वरूपाचरणम्, सरूवाचरण, नपुं० चारित्र का एक भेद । आत्मा के यथार्थ स्वरूप में लीनता स्वरूपे आसमन्ताच्चरणं......स्वरूपाचरणं चारित्र स्वसमय प्रवृत्तिरित्यर्थः, a kind of good character, शुद्धोपयोग के तीन नामों में · प्रथम | स्वरोटिका, सरोटिगा, स्त्री० अपनी आजीविका, self business. स्वर्गः, सग्गो, पुं० [स्वरितं गीयते क, सु ऋज् + घञ्] स्वर्ग, heaven, • सरपुट, heaven place, • दिव, देवस्थान, परमस्थान, तत्स्वर्गतो नान्यादि याद्वदान्य। • आत्महस्त, place of deity, self hand. स्वर्गगिरि, सग्गगिरि, पुं० सुमेरु पर्वत, the heav enly mountain sumeru. स्वर्गत, सग्गअ, वि० स्वर्गीय, heavenly. स्वर्गद, सग्गद, वि० स्वर्ग प्रदायक, leading to heaven. स्वर्गद्वारम्, सग्गदारं, नपुं० स्वर्गं स्थान, place of heaven. स्वर्गधामः, सग्गधामो, पुं० स्वर्ग निलय, • स्वर्ग स्थान, • शुभ स्थल, good place. स्वर्गपतिः, सग्गव, पुं० इन्द्र, शक्र, heaven's gate. स्वर्गपादपः, सग्गपादवो, पुं० कल्पतरु, heaven tree. स्वर्ग प्रदेशः, सग्गपएसो, पुं० स्वर्गस्थान, the door of paradise. Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir संस्कृत - प्राकृत-हिन्दी एवं अंग्रेजी शब्द कोश स्वर्गप्रमाणक्षणम्, सग्गपमाणक्खणं, नपुं० स्वर्ग जाने का समय, time going of heaven. स्वर्गप्रास्यभिलाषा, सग्ग पस्साहिलासा, स्त्री० सुखाशा, good wish. स्वर्गरमा, सग्गरमा, स्त्री० मोक्षलक्ष्मी, 'पतिः स्यां स्वर्गरमायाः', a celestial damsel. स्वर्गलक्ष्मी, सग्गलच्छी, स्त्री० स्वर्ग श्री, heavenly nymph, शुभश्री। स्वर्गश्री, सग्गसिरी, स्त्री० सुरपुर लक्ष्मी, heaven, स्वश्री apsaras, Laxmi. स्वर्गसम्पदा, सुग्गसंपदा, स्त्री० सुरपुर का स्थान, सुरपुर का वैभव गजपादेनाध्वनि मत्वाऽसौ स्वर्गसम्पदा यात: | place of heaven. स्वर्गिन्, सग्गि, पुं० [स्वर्गेऽस्त्यस्य भोगत्वेन इनि] देव, सुर, अमर, देवता, a god deity, an immortal, • मृतक, मरा हुआ पुरुष, a dead, a decreased man. स्वर्गिवत्, सग्गिव, वि० स्वर्ग में रहने वाले की तरह देव तुल्य, like some of heaven. स्वर्गीय, सग्गिज्ज, वि० [स्वर्ग + छ यत् वा] दिव्य, दैवीय, दिव्य संबंधी, heavenly. स्वर्गीयवनम् सग्गिज्जवणं, नपुं० नन्दन वन, nandan van. स्वर्गीदार, सग्गोदार, वि० स्वर्ग सदृश्य, some like heaven. स्वर्णम्, सुवण्ण, नपुं० [सुष्ठु अर्णो वर्णों यस्य ] सोना, कनक, gold, • हैम । स्वर्णकः, सुवण्णगो, पुं० सोना, कथा, gold. स्वर्णकणः, सुवण्णकणो, पुं० सोने के दाना, a grain of gold. स्वर्णकणिका, सुवण्ण- कणिगा, स्त्री० सोने का कण / एक हिस्सा, a grain of gold. स्वर्णकायः, सुवण्णकाओ, वि० सुनहरी काया वाला, गौरवर्ण वाला, golden bodied. स्वर्णकारः, सुवण्णकारो, पुं० सुनार, कलार, gold maker. स्वर्णगौरिकम्, सवण्णागोरिंग, नपुं० गेरु, लाल खड़िया, a kind of red. For Private and Personal Use Only
SR No.020646
Book TitleSanskrit Prakrit Hindi Evam English Shabdakosh Part 03
Original Sutra AuthorN/A
AuthorUdaychandra Jain
PublisherNew Bharatiya Book Corporation
Publication Year2011
Total Pages622
LanguageSanskrit, Hindi, Prakrit, English
ClassificationDictionary
File Size18 MB
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