________________ Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra www.kobatirth.org Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir ( 798 ) ढक्कन, पाली,कम् मिट्टी का लौंदा -गुरुमध्ये हरि- | मालसी --एक पौधे का नाम। णाक्षी मार्तिकशकलनिहन्तुकामं माम-भामि० माला 1. हार, स्रज, गजरा--अनधिगतपरिमलाऽपि हि 2149 / हरति दृशं मालतीमाला - वास० 2. रेखा, पंक्ति, माय॑म् -मरणशीलता। सिलसिला, श्रेणी या तांता -- गण्डोड्डीनालिमाला मार्दङ्गः-ढोलकिया, मृदंग बजाने वाला,-म नगर, कस्बा / --मा० 111, आबद्धमालाः - मेघ० 9 3. समूह, मार्दनिकः -मृदंग बजाने वाला, ढोलकिया। झुरमुट, समुच्चय 4. लड़ी, कण्ठहार जैसा कि 'रत्नमार्दवम् --मृदुता (शा० और आलं०) लचीलापन, दुर्ब- माला' में 5. जपमाला, जंजीर-जैसा कि 'अक्षमाला' लता -अभितप्तमयोऽपि मार्दवं भजते कैव कथा शरी- में 6. लकीर, लहर, कौंध जैसा कि 'तडिन्माला' और रिषु रघु० 8 / 43, 'मृदु हो जाता है', स्वशरीर- 'विद्युन्माला' में 7. विशेषणों का सिलसिला मार्दवम् कु० 5 / 18 2. नरमी, कृपा, कोमलता, 8. (नाटक में) अपने मनोरथ की सिद्धि के लिए नाना उदारता भग०१६।२ / वस्तुओं का उपहार / सम० उपमा उपमा का एक माक (वि.) (स्त्री० - को) -अंगूरों से बनाया हुआ, भेद जिसमें एक उपमेय की अनेक उपमानों से तुलना -कम् शराब- शि० 8 / 30 / / की जाती है उदा० अनयेनेव राज्यश्रीन्येनेव मनमार्मिक (वि०)-गहरी अन्तर्दृष्टि रखने वाला, तत्त्व स्विता, मम्लौ साथ विषादेन पद्मिनीव हिमाम्भसा सौन्दर्यादिक से पूर्ण परिचित, (- मर्मज्ञ दे०)-मार्मिकः --काव्य० 10,- करः, कारः 1. हार बनाने वाला, को मरन्दानामन्तरेण मधुव्रतम् ---भामि० 11117, फूल-विक्रेता, माली, कृती मालाकारो बकुलमपि 9 / 8, 4 / 40 / कुत्रापि निदधे --भामि० 1154, पंच० श२२० 2. मार्षः-दे० 'मारिष मालियों की एक जाति,-तृणम् एक प्रकार का सुगंधित माष्टिः (स्त्री०) स्वच्छ करना, मलमलकर मांजना, घास, -दीपकम् दीपक अलंकार का एक भेद, मम्मट निर्मल करना। ने इसकी परिभाषा बताई है मालादीपकमाद्यं चेद्यमालः 1. बंगाल के पश्चिम या दक्षिण-पश्चिम में एक थोत्तरगुणावहम् --काव्य० 10, उदा० देखें उसी स्थान जिले का नाम 2. एक बर्वर जाति का नाम, पहाडी पर। 3. विष्णु का नाम,-लम् 1. मैदान 2. ऊँची भूमि, मालिक: 1. फूलों का व्यापारी, माली 2. रंगने वाला, उठी हुई या उन्नत की हुई भूमि - (मालमुन्नतभूत- रंगरेज। लम्) क्षेत्रमारुह्य मालम् -मेघ० 16 (शैलप्रायमुन- मालिका 1 माला 2. पंक्ति, रेखा, सिलसिला 3. लड़ी, तस्थलम् -मल्लि.) 3. धोखा, जालसाजी। सम० कण्ठहार 4. चमेली का एक प्रकार 5. अलसी -चक्रकम् कूल्हे का जोड़। 6. बेटी 7. महल 8. एक प्रकार का पक्षी 9. मादक मालक: 1. नीम का पेड़ 2. गाँव के पास का जंगल पेय / 3. नारियल के खोल से बना पात्र,-कम् माला। मालिन् (बि०) 1. माला पहनने वाला 2. (समास के मालतिः, ती (स्त्री०) (सुगंधित श्वेत फूलों से यक्त) अन्त में) मालाओं से सम्मानित, हारों से सुशोभित एक प्रकार की चमेली-तन्मन्ये क्वचिदङ्ग भुगतरुणे गजरों से लपेटा हआ -समुद्रमालिनी पृथ्वी, अंशनास्वादिता मालती-गण, जालकैर्मालतीनाम्-मेघ० मालिन, मरीचिमालिन, अमिमालिन आदि, नपुं० 982. मालती का फूल-शिरसि बकुलमालां माल - फूलमाली, हार बनाने वाला,--नी 1. फलमालिन, तीभिः समेतां-ऋतु० 2 / 24 3. कली, सामान्य फूल हार बनाने वाले की पत्नी 2. चम्पा नगरी का नाम 4. कन्या, तरुणी 5. रात 6. चांदनी। सम-क्षारक: 3. सात वर्ष की कन्या जो दुर्गा पूजा के उत्सव पर दुर्गा सुहागा, -पत्रिका जायफल का छिल्का,-फलम् जाय का प्रतिनिधित्व करे 4. दुर्गा का नाम 5. स्वगंगा फल,-माला मालती या चमेली के फूलों की माला। 6. एक छंद का नाम दे० परिशिष्ट 1 / मालय (वि.) (स्त्री०-यो) मलय पर्वत से आने | मालिन्यम् 1. मैलापन, गंदगी, अपवित्रता 2. मलिनता, वाला,—यः चंदन की लकड़ी। / दूषण 3. पापपूर्णता 4. कालिमा 5. कष्ट, दुःख / मालबः 1. एक देश का नाम, मध्यभारत में वर्तमान | मालुः (स्त्री०) 1. एक प्रकार की लता 2. एक स्त्री। मालवा 2. राग का नाम, या स्वरग्राम की रीति, सम०-धानः एक प्रकार का साँप / -वाः (ब० व०) मालवा प्रदेश के अधिवासी। मालूर: 1. बेल का वृक्ष 2. कैथ का वृक्ष / सम-अधीश:-मन्त्रः,-नपतिः मालवा का राजा। मालेया बड़ी इलायची / / मालवक:-1. मालव वासियों का देश 2. मालवा का माल्य (वि०) हार के उपयुक्त या हार से संबद्ध,-- ल्यम् निवासी। 1. हार, गजरा-माल्येन तां निर्वचनं जघान : कु० For Private and Personal Use Only