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मुंबई के जैन मन्दिर
मित्र मण्डल, वर्धमान तप आयंबिल शाला, पाठशाला एवं नया उपासरा बहुत विशाल हैं।
जिस उपाश्रय का निर्माण प.पू. युगदिवाकर आचार्य भगवन्त श्री विजय धर्मसूरीश्वरजी म.सा. की शुभ निश्रा में उनकी प्रेरणासे वि. सं. २०२४ में हुआ था, और उसमें प्रथम चातुर्मास वि.सं. २०२४ में आपका धामधूम से हुआ था।
__यहाँ प्रति वर्ष वर्षगांठ के दिन सभी संघ के भाई मिलकर भक्ति भावना में साधर्मिक वात्सल्य का आयोजन करते हैं।
(१०२) श्री शंखेश्वर पार्श्वनाथ भगवान गृह मन्दिर मेघना एपार्टमेन्ट, पहला माला, स्वामि विवेकानन्द रोड, सान्ताक्रुझ (प.),
___ मुंबई - ४०० ०५४.
टे. फोन : ६०४ १२ ०८ विशेष :- परम पूज्य आचार्य भगवन्त श्री प्रेमसूरीश्वरजी म. के समुदाय के आचार्य भगवंत विजय हेमचंद्रसूरीश्वरजी म. (उस समय पंन्यासजी) की शुभ निश्रा में वि.सं. २०४२ का मगसर सुद १० को चल प्रतिष्ठा हुई थी।
यहाँ के गृह मन्दिरजी में आरस के मूलनायक श्री शंखेश्वर पार्श्वनाथ है। पाषाण की ३ प्रतिमाजी पंच धातु की २ प्रतिमाजी एवं सिद्धचक्रजी - १ बिराजमान हैं।
(१०३)
श्री सुमतिनाथ भगवान गृह मन्दिर रवोतवाडी, बेझन्ट स्ट्रीट, आजाद भवन, रुम नं. ३, सान्ताक्रुझ (प.), मुंबई-४०० ०५४.
टे. फोन : नीतिनभाई ६१३ १७ ८२ भरतभाई ६१५ ०२ ०३ धीरजभाई ६१८ २६ ४२
विशेष :- इस गृह मन्दिरजी की स्थापना एवं संचालन श्री मिलन श्वेताम्बर मूर्तिपूजक तपागच्छ जैन संघ द्वारा हो रहा हैं।
यहाँ मूलनायक श्री सुमतिनाथ भगवान तथा आजुबाजू में श्री आदिनाथ भगवान तथा श्री महावीर स्वामी की आरस की ३ प्रतिमाजी, पंच धातु की १ प्रतिमाजी तथा सिद्धचक्रजी - १ तथा अष्टमंगल - १ सुशोभित हैं।
परम पूज्य आचार्य भगवन्त भुवनभानुसूरीश्वरजी म. के पट्टधर आ. विजय जयघोषसूरीश्वरजी म. के शिष्य पन्यासजी रविरत्नविजय म. साहेबजी की शुभ निश्रा में वि.सं. २०५२ का काती वद १२ ता. १९-११-९५ रविवार को शुभ लग्न में चल प्रतिष्ठा हुई थी।
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