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THE SANSKRIT MANUSCRIPTS.
7533
No. 11141. रावणपञ्चचामरस्तोत्रम्.
RĀVAŅAPAÑCACAMARASTOTRAM. Pages, 5. Lines, b on a page.
Begins on fol. 25a of the MS. described under No. 2418. A eulogy in Pañcacīmara metre on Siva, said to have been made by Ravana. Beginning :
जटाकटाहसंभ्रमभ्रमन्निलिम्पनिर्झरीविलोलवीचिवल्लरी विराजमानमूर्धनि । *धगद्धठाज्ज्वलल्ललाटपट्टपावनानले किशोरचन्द्रशेखरे रतिः प्रतिक्षणं मम || धराधरेन्द्रनन्दि(न्द)नीविलास(बन्ध)बन्धुर स्फुरद्दि(दृ)गन्तसन्ततिप्रमोदमानमानसे । कृपाकटाक्षधोरणीनिरुद्धदुर्धरापदे
कचिच्चिदम्बरे मनो विनोदमेतु वस्तुनि ।। End:
नमामि चण्डताण्डवप्रसङ्गसङ्गतभ्रमजटा(लसत्सरि)त्तरङ्गसन्मृदङ्गनिस्वनम् । . अनङ्गमङ्गलक्रियादु(धु)रीणमेदुरीभवत्तमीतमस्समानकेशपाशकं सदाशिवम् ।। दृषद्विचित्रतल्पयोर्भुजङ्गमौक्तिकस्रजोः गरिष्ठरत्नलोष्टयोस्सुहृद्विपक्षपक्षयोः । तृणारविन्दचक्षुषोः प्रजामहीमहेन्द्रयोः समप्रकृत्तयोः (वर्तकः) कदा सदाशिवं भजामहे ।। कदा निलिम्पनिर्झरीनिकुञ्जकोटरे वसन् विमुक्ति(क्त)दुर्मतिस्सदा शिरस्थमञ्जलिं वहन् ।
* धगद्धगद्धगज्वलललाटपट्टपावके इति पाठभेदः.
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