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(१६)
अष्टाङ्गहृदयसंहिताकीविषय.
पृष्ठ. विषय. तृष्णानिरोधसे शोषादिरोग..... भोजनमें अम्बुपानविधि . ... क्षुद्रोधसे अंगभंगादि ....
शीतजलगुण ........ निद्रारोधसेमोहादि
उष्णजलगुण .... ... कासरोधसे कासवृद्धि
कथितशीतजलगुण ... श्रमश्वासरोधसे गुल्मादि
नालिकेरोदकगुण .. Mभारोधसे शिरोर्त्यादि ...
वर्षर्तुजलआकाशजलथ्य .... अश्रुरोधसे पीनसादि ...
गोदुग्धलक्षण वमिरोधसे विसर्पादिः . ...
माहिषीक्षारगुण ... शुक्ररोधसे शुक्रस्ताव ....
अजाक्षीरगुण .... वेगोदीरणधारणसे सर्वरोगोत्पत्ति ... ३९
औष्टकक्षीरगुण .... लोभादिवेगको हितैषिओंने. अवश्यधारना ,,
स्त्रीस्तनदुग्धगुण .... मलशोधन यथाकाल करना.... .....,
मेषीक्षीरगुण दोषोंके कोपका कारण ... .... "
हस्तिनीक्षीरगुण ... रसायनप्रयोगकरना.... .... .... ४० वडवादिक्षारगुण भेषजसे क्षयितको आहारमें बृंहणादि । शतक्षीरगुण आहारादिसेवाका फल ....
दधिगुण ....... आगन्तुकरोगसंभव .....
तक्रगुण आगंतुकरोगचिकित्सा .....
मस्तुगुण मलशोधनका काल
नवनीतगुण हिताहितविहारसेवन ३६ .... .... क्षीरोत्पन्नधृतगुण
पञ्चमोऽध्यायः ५. . . घृतगुण .... .... ... अथ द्रवद्रव्यविज्ञानीयाध्याय .... पुरातनवृतगुण .... .... गंगाजलके गुण .... ....
किलाटादिविकारगुण गंगाजलका लक्षण.... ....
क्षीरघृतोंको श्रेष्ठत्वनीवत्व .... समुद्रजलपाननिषेध
इक्षुरसगुण आकाशजलपानविधि ....
यांत्रिकेक्षुरसगुण .... अपेयजल .... .... ....
पौण्ड्रकरसको उत्तमत्व नदीजलविचार .... ...
शातपर्वकादिकके गुण हिमवन्मलयोद्भूतपथ्यापथ्यादिविवेक ४३ फाणितके गुण .... .... पेयत्ववर्य नदियां .... ... ...,
निर्मलगुडके,गुण .... ..... रोगिविशेषसे जलंपाननिषेध ... , पुराणनवगुडके गुण
....
... ४२
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