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________________ Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra www.kobatirth.org अल्पास्थि ७१६ शेद्लम् ता० । श्री तलमु ते० । बिने, श्री ताली अल्फजन alfajan - हिंο -कना० । कुट-पास, ताली पान-मल० 1 नालटमड्डी-फो० | ताल - सिं० । पेङ्ग बं० । ताल वर्ग ( NO. Pamac.ece. ) उत्पत्ति स्थान - दक्षिण भारत । प्रयोगांश पत्र वा सागू | उपयोग - उक्त वृक्ष के गूड़े से एक भाँति का सागू प्राप्त होता है । लोग इसे श्रखली में कूट कर श्रादा बनाते हैं और इसकी रोटी बनाकर फसल पकने से प्रथम इसे अनाजके स्थान में व्यव हार करते हैं । इसका स्वाद श्वेत रोटिका के समान होता है । साधारणत: इसे निर्धन व्यक्ति व्यवहार में लाते हैं। इसको काँजी भी तैयार की जाती है जो सागू, श्रारारूट, यत्र वा जई के समान एवं लगभग उतनी ही पोषक होती हैं । इं० मे० मे० । अल्पास्थि alpásthi - सं० लो० परुषक फल, फ(फ)लसा । ( Grewia Asiatica. ) रा० नि० चं० ११ । भा० पू० १ भा० । अल्पाहार alpáhára-हिं० पु० थोड़ा खाना, लघुश्राहार | ( Moderation, Abstinencè.) Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir अल्फाज़े azm-नंग } ula stoechas, ३ भा० । अल्बर्जीम उस्तु, खुद्द स भा० बाज़ा० | Arabian or French lavender ( LavandLinn.) फा० ई० .} पारो-हिं० । } - ६० artho-naphthol नेफ्थाल यह टिश फार्माकोपिया में नीट श्रीफ़िशल है , देखो - तेफ्थाल ( Naphthol ) अर्थात् विलायती कपूर | अल्फ़ियह् aifiyah-फा० ज़कर, थालहे तनासुल - अ० । शिश्न, लिंग, उपस्थ । ( P2nis.) अल्फ़िल फिलुल् श्रस्त्रद a|filfilul-asvad - अ० श्याम मरिच, स्याह मिर्च, काली मा गोल मिर्च | Black pepper liper nigr um. ) अल्फाज़न alphozole - ६० यह एक सूक्ष्म रावत ( स्फटिकीय ) चूर्ण है जो सकलीनिक एसिड और हाइड्रोजन पर ऑक्साइड के पारस्परिक क्रिया व प्रतिक्रिया द्वारा प्राप्त होता है । For Private and Personal Use Only अल्पिका alpika - स० ० ( १ ) बन मक्षिका जाति, डाँस | (A large mosqu ito, a gadfly ) हैं ० ० ४ । (२) मुद्गपर्णी ( Phaseolus trilobus ) भा० पू० १ भा० । अल्पौरसी alpourasi सं० स्त्री० ( Pect· oralis minor ) उरसादनी लघवी । अल्फ़ alfa-कटुकली, ताली-सं० । बजर बट्टू - हिं० । ( Corypha umbracalifera. ) देखो - अल्पायुषी । छलफãalfa-अ० इ ( अ ) स्पस्त - फा० | See i(a)spasta ( Trifoliun pratensis.) अल्ब] alba-अ०] ज्वराधिक्य, उमाधिक्य । तृषा | फोड़े फुन्सी का अच्छा होने लगना । ( २ ) एक जंगली काँढादार वृक्ष है । यह विषैलां होता है । श्रल्पक alfaq-अ० ( १ ) बाँय हत्था, बाएँ अबर्जीन albergin-ई० सिस्वर ग्ल्यूटीन हाथ से काम करने वाला - 1 ( २ ) मूर्ख । (Silver glutin.) । इसमें १५ प्रतिशत स्वाद - सूक्ष्माम्ल और तिल जिससे पश्चात् को धातुवत् स्वाद का बोध होता है। घुलनशीलता - यह एक भाग ६० भाग जल में लय हो जाता है । प्रभाव - इसको निर्विषैस कीटाणुहर रूप से व्यवहार करते हैं । मात्रा-१ रती ( घोल रूप में ) । देखो - हाइड्रोजीनियाई पर श्रीक्साइडाई लाइकार ।
SR No.020060
Book TitleAayurvediya Kosh Part 01
Original Sutra AuthorN/A
AuthorRamjitsinh Vaidya, Daljitsinh Viadya
PublisherVishveshvar Dayaluji Vaidyaraj
Publication Year1934
Total Pages895
LanguageGujarati
ClassificationDictionary
File Size27 MB
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