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भाग-जैन भक्ति व क्रियाका
1
2
3
3A
3A
45
Bhaktā mara
मानतुङ्ग
मू. (प)
4-61
,, Prabhāva
266 पी. 100 भक्तामर 267-71 7. 29/1,2,
5 प्रति 272 | B-929
" प्रभाव | ग. 29/8
, समस्या पूति
मयहर स्तोत्र 275 सि. 355
,, Samasya
गुणचंद्रसूरि उ. धर्मवद्धन d/o | +
विजय हर्षवाचक मानतुंग/अशात | मू+व (प.ग.
Bhayabara Stotra
w ani
276
बा. 289
, वृतिमात्र
कीतिहर्षसूरि
वृ (ग)
277
चौ. 101 | भावारिवारण स्तोत्र
| Bhavarivarapa Stotra
जिनवल्लभ
B-868
niraashaktisadhiwinchhindimana
279
बा. 290
,वृतिमात्र
जयसागर
280
B-392
मणिभद्र छंद
Manibhadra Chanda
राजरत्न पाठक
281
चौ.गु. 4 | मनोरथमाला
Manorathamala
पावचंद
282 | बा. 291 | मल्लिनाथ वृद्ध स्तवन
Mallinatha vrdha Stavana] कुशलाभ
283
B-868
महावीर स्तोत्र
Mabāvfra Stotra
जिनवल्लभ
मू (प)
284 | B-260
मू+व्या (प.ग)
285
सि.गु 889
मू+ट (पग.)
विजयदेवd/o
सिंहसूरि तपा
286.
1949
मू (प.)
287
,
Stavana
288
सि. 356 महावीर स्तवन (जीणंगठ)
.889 , , (नयनिक्षेप) 883 , , (ब्राह्मणवाडि)
कुशलहर्षd/o
हर्ष संयम रामविजयd/o |
दयासिंह खरतर माणिक्य मुनि मा. यशोविजय
289
290
B-410A
, (विज्ञप्ति)
291
B-1021
, (27 भव)
शुभविजयd/o कल्याणविजय तपा
292
चौ. 102
6)
293
B-1017
"
, (स्यादाद)
विनयd/o
कोत्तिविजय मुनिमाल
294 | B-855 B
F
(पाषणा) ।