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________________ अभिधानचिन्तामणिनाममाला शब्द / लिंग / श्लोक / अर्थ (क्रतु) पुं १२४ सप्तर्षि पैकी एक ऋषि क्रतुधामन् पुं २१९ ( शे. ७१) विष्णु, नारायण ऋतुभुज् पुं (ब.व.) ८८ देव क्रन्दन न. १४०४ सुभटोने युद्धमां बोलाववुं ते क्रन्दित न. १४०२ रुदन, रडवुं ते क्रम पुं ६१६ पग क्रम पुं ८३९ कल्प, आचार क्रम पुं १५०३ अनुक्रम, परिपाटी क्रमण पुं ६१६ पग क्रमण पुं १२३३ (शे. १७८) घोड़ो (क्रमशयन) न. १५०३ पहेरेगीरोनुं वाराफरती सूवुं ते • ९६ शब्द / लिंग / श्लोक / अर्थ क्रियावत् पुं - ३५३ क्रियामां तत्पर क्रियाविशाल नं: २४८ तेरमुं पूर्व क्रियाह पुं १२३८ लाल घोडो क्रियेन्द्रिय न. १३८४ हाथ, पग, वाचा, गुदा, गृह्येन्द्रिय आदि क्रीडा स्त्री ५५५ क्रीडा, रमत क्रुञ्च् पुं १३२९ कौंच पंक्षी क्रुञ्च पुं १०२९ क्रौच पर्वत 'क्रुञ्च' पुं १३२९ कौंच पक्षी क्रुञ्चा स्त्री १३२९ (शि. ११८) कौंच पक्षीनी स्त्री ( क्रव्याद) पुं १८८ राक्षस क्राथ पुं ३७२ हिंसा क्रान्ति स्त्री १५११ आक्रमण क्रायक पुं ८६८ खरीद करनार क्रिमि पुं १२११ (शि. १०८) करोळीओ क्रिया स्त्री १४९७ कर्म, क्रिया क्रुध् स्त्री २९९ क्रोध क्रुधा स्त्री २९९ क्रोध क्रुष्ट न. १४०२ रुदन, रडवुं ते क्रमुक पुं ११५४ सोपारीनुं झाड क्रमेलक पुं १२५३ ऊंट क्रयविक्रयिक पुं ८६७. वेपारी ऋयिक पुं ८६८ खरीद करनार क्रयिन् पुं ८६८ खरीद करनार क्रूरात्मन् पुं १८४ (शि. १६) शनि ग्रह क्रय्य न. ८७१ वेंचवा माटे विस्तारेलुं द्रव्य क्रेतव्यमात्रक नं. ८७१ वेंचवा माटे क्रव्य न. ६२२ मांस क्रव्याद् पुं १८८ राक्षस क्रूर पुं ३७६ क्रूर, पापी क्रूर पुं १३८६ कठोर स्पर्श, निष्ठुर, कठिन, निर्दय विस्तारेलुं द्रव्य क्रेय न. ८७१ वेचवा माटे विस्तारेलुं द्रव्य क्रोड पुं १२१ शनि क्रोड पुं ६०२ खोळो, शरीरनो पूर्व भाग क्रोड पुं १२८७ मूंड क्रोडपाद पुं १३५३ काचबो क्रोडा स्त्री नं. ६०२ छाती, - बे हाथनी वच्चेनो भाग *
SR No.016120
Book TitleShabdamala
Original Sutra AuthorN/A
AuthorMuktichandravijay, Munichandravijay
PublisherShantijin Aradhak Mandal
Publication Year2000
Total Pages474
LanguageGujarati
ClassificationDictionary & Dictionary
File Size9 MB
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