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लेश्या-कोश
जैनागमों के महोदधि के मंथन से निकाले गये नवनीत के रूप में यह ग्रन्थ मुझ जैसे स्वाध्याय प्रेमी व्यक्ति के लिए अत्यन्त उपयोगी होगा। इस ग्रन्थ की शाश्वत मुल्यवत्ता हर आत्मलक्षी व्यक्ति के लिए प्रेरक व पथप्रदर्शक प्रकाशस्तंभ का कार्य करती है।
अनेकानेक धन्यवाद । २२-११-६७
-सोहनराज कोठारी
पूर्व न्यायाधीश व एडवोकेट नयापुरा-बालोतरा जैन नन्थों में वर्णितयोग की सम्पूर्ण क्रियाओं का संकलन इसमें है। प्राकृत भाषा में लिखे गये अनेक ग्रन्थों का अनुवाद कर प्रकाशित करने से लोगों को ज्ञान वृद्धि होगी।
-बी० एन० मुखर्जी
कलकत्ता विश्वविद्यालय ( इतिहास विभाग ) विभिन्न विषयों पर प्रकाशित ग्रन्थों के क्रम में यह आठवीं पुस्तक समिति ने छपवाई है। समिति का उद्देश्य है-प्राचीन ग्रन्थों में समाहित ज्ञान को जनभाषा के जरिये जनमानस तक पहुँचाना है।
-गुलाबमल भंडारी भगवान महावीर के द्वारा प्रतिपादित सिद्धांतों का अपने जीवन में उतारने का प्रतिदिन अभ्यास करना चाहिए। योग कोश अच्छा ग्रन्थ है।
-भूपतभाई कमानी योग कोश (द्वितीय खण्ड) बहुत सुन्दर बन पड़ा है। कोश कार्य उत्तम है।
-साध्वी श्री मधुस्मिता नामानुसार अत्यन्त महत्वपूर्ण संकलन ग्रन्थ है। योग से सम्बन्धित सम्पूर्ण पाठों को इस ग्रन्थ में समग्नता से संकलन किया गया है। जैन धर्म दर्शन को समझने के लिए ये ग्रन्थ अत्यन्त महत्वपूर्ण है।
शोधार्थियों के लिए तो बहुत ही उपयोगी हैं-कोश ग्रन्थों का सुबोध संकलन ।
जैन दर्शन के सभी महत्वपूर्ण विषयों पर कोश मन्थों का संकलन किया जाये तो जैन दर्शन की समृद्धि का एक नया आयाम मिल सकता है।
-डा० विशाल मुनि
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