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प्राकृत भारतीय अकादमी
निदेशकयती
क्रमांक:
महोपाध्याय विनयसागर
दिनांक
Sodhe
संदेश
मुनिपुगंव श्रीजचप्रभविजयजी महाराज
सादर वंदन
बड़े हर्ष का विषय है कि आचार्य प्रवर श्रीमद् यतीन्द्रसूरीश्वरजी महाराज के दीक्षा शताब्दी वर्ष का आयोजन किया जा रहा हैं। तथा इस अवसर पर स्मृति ग्रन्थ भी प्रकाशित किया जा रहा हैं। इस अवसर पर मेरी ओर से हार्दिक बधाई स्वीकार करें।
आशा है, आचार्यश्री की बहुआयामी गतिविधियों को प्रेरक रूप में आप इस ग्रन्थ में समेटने में सफल होंगे। ऐसे धर्म प्राण व प्रभावी व्यक्तियों की स्मृतियां जनसामान्य में धर्म प्रभावना करने में सहायक होती हैं।
मैं अस्वस्थता तथा समयाभाव के कारण प्रकाशन चोग सामग्री भेजने में इच्छा होने पर भी असमर्थ हूँ।
शुभ कामनाओं सहित
hyayा 1535715 आपका ही
म. विनयसागर
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