________________
, १३-१४
बाबत. विषय.
विषय. बावत. सेजा सयारो स्थिरवास माटे लेवा
आज्ञा मागवा बावत वावत. जुओ शुद्धि पत्रक
उपगरण १२ साधुने गाममां खातर अर्थे जता उपसपगरण स्थिवरना ५ स्थिवरने शुं शुं उपगरण राखवा
गरण कोइ साधुनु पडेलु जडे तो शुं फरपे ते वाचत
फरवू ते वावत सेना संथारो ६-७ सेजा संथारोपाढीयारो के सेजान्तरनो,
वियार के विहार भूमिमां जवां के प्रामालधणीनी आशा मागीने लइ जवा
मानुग्राम जतां रस्तामां उपगरण जडे बावत
तो शुं करवू ते वावत सेजा संथारो८ उपलो सेजा संथारो पाछो आप्या
मर्यादाथी अधीक उपगरण बीजा यका
लाववा पावत पछी फरी आज्ञा माग्या विना गाम न लइ जवा वावत
उणोदरी तप १६ उणोदरी वप वापत स्थानफ सेजा संथारो स्थानफ सेजा संथारो प्रयमयी भाज्ञा IX ९ मो उद्देसो-पार्नु १२५ थी १४६. कूल सूत्रो ४७ ९-१० मागीने लेवा वावत
सेजान्तरनो आहार साधुए सेजान्तरना परोणानो माहार ! सेना संयारो ११ सेजा थारो कोइ वखत लीधा पछी । १ थी ४ लेवा बावत
ARR!
ॐॐ