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सुत्तागमे
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[विवागसुर्य सियापइया सोलसमे माउ(स्सि)सियाओ सत्तरसमे मा(सिमियाओ अट्ठारसमे अवसेस मित्त-नाइ-नियगसयणसंबंधिपरि-यणं अग्गओ घा-एंति २ ता कसप्पहारेहि तालेमाणा २ कलुणं का-गणिमंसाइं खावेंति [२] रुहिरपा-णियं च पाएंति ॥ १५ ॥ तए णं से भगवं गोयमे तं पुरिसं पा(स)सेइ २ ता इमे ए(अयमे)यालवे अज्झ. थिए (पत्थिए) समुप्प-ने जाव तहेव निग्गए एवं वया-सी-एवं खलु अहं णं भंते ! तं चेव जाव से णं भंते ! पुरिसे पुत्वभवे के आसी जाव विहरइ ? एवं खलु गोयमा ! तेणं कालेणं तेणं समएणं इहेव जंबुद्दीवे दीवे भारहे वासे पुरिमताले-ना(म)मं नयरे होत्था रिद्ध०, तत्थ णं पुरिमताले नयरे उदिओदिए-नामं राया होत्या महया०, तत्थ णं पुरिमताले निन्नए-नामं अंडयवाणियए होत्था अढे जाव अपरिभूए अहम्मिए जाव दुप्पडियाणंदे, तस्स णं नि-नयस्स (अंडयवाणिय-ग-स्स) वहवे पुरिसा दि-नभइभत्तवेयणा कल्लाकल्लिं कु(को)दालियाओ य पत्यि(या)यपिडए [य] गि-हंति, [२] पुरिमतालस्स नयरस्स परिपेरंतेसु वहवे काइअंडए य घू(घू)इअंडए य पारेवइ० टिट्टिभिअंडए य ख[ग्गि]गि अं० मयूरि० कुक्कुडिअंडए य अ-नेसि च बहूर्ण जलयरथलयरखहयरमाईणं अंडाइं गेण्हंति २ त्ता पत्थियपिडगाई भरेंति [२] जेणेव नि-नयए अंडवाणियए तेणामेणेव उवागच्छन्ति २ त्ता नि-नय(ग)स्स अंडवाणियस्स उवणेंति, तए णं (से) तस्स नि-नयस्स अंडवाणियस्स वहवे पुरिसा दि-नभइ० बहवे काइअंडए य जाव कुकुडिअंडए य अ-नेसिं च वहणं जलयरथलयर(खेच)खहयरमाईणं अंडयए तवएसु य कवलीसु य कं(ड)दुएसु य भजणएसु य इंगालेसु य त(लिं)लेंति भ(ज)जेंति सो(ल्लिं)ल्लेति तलेता भ(जिं)जंता सो-लेता रायमग्गे अंतरावणंसि - अंडय(एहि य)पणि(ग)एणं वित्तिं कप्पेमाणा विहरंति, अप्प(णो)णा-वि य णं से नि-नयए अंडवाणियए तेहिं वहहिं काइ(य)अंडएहि य जाव कुक्कुडिअंडएहि य सोल्लेहि य तलिएहि य भ(जे)जिएहि य सुरं च""आसाएमाणे विसाएमाणे विहरइ, तए णं से नि-नए अंडवाणियए एयकम्मे ४ सुवहुं पावकम्म समजिणित्ता एग वाससहस्सं परमाउयं पालइत्ता कालमासे कालं किच्चा तच्चाए पुढवीए उनोससत्तसागरोवमठि-इएसु नेरइएसु नेरइयत्ताए उवव-ने ॥ १६॥ से णं तओ अणंतरं उव्वहित्ता इहेव सालाडवीए चोरपल्लीए विजयस्स चोरसेणावइस्स खंदसिरीए भारियाए कुच्छिसि पुत्तत्ताए उवव-ने, तए णं तीसे खंदसिरीए भारियाए अ-नया कया-इ तिण्हं मासाणं बहुपडिपुण्णाणं इमे एयारूवे दोहले पाउन्भूए-धन्ना ओ णं ताओ अम्सया० जाओ णं बहूहि मित्त-नाइ-नियगसयणसंबंधिपरियणमहिलाहिं अ-नाहि य चोरमहिलाहिं सद्धिं संपरिवुडा पहाया सव्वालंकारविभूसिया वि-उलं.