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संकेत ठा.
तत्त्वार्थ तत्त्वार्थ[सु] तन्दुल.
त्रिलोक.
(२६) ग्रन्थ नाम, भाषा व काल ग्रन्थ कत्तों और उसका काल प्रकाशन का स्थान व समय ठागणाग सूत्र [स्थानाग सूत्र] दो भाग टीकाकार श्री अभयदेवसरि
प्रागमोदय समिति मूल-प्राकृत,टीका सस्कृत वि स.११२० [वि स. १०७२-११३५ ]
वीर सं २४४५-४६ सभाष्य तत्त्वार्थाधिगम सूत्र,संस्कृत वाचकमुख्य श्रीउमास्वाति
मोतीलाल लाधाजी पूना, वीर स २४५२ तत्त्वार्थ सूत्र,गुजराती [दो भाग विवेचक-पं. सुखलालजी [विद्यमान गुजरात विद्यापीठ अहमदाबाद, वि सं १९८५ तन्दुलवेयालिय पइगणा,प्राकृत
देवचंद लालभाई जैन पुस्तकोद्धार फड (दम पइगगणा में से पाचवीं पइराणा)
वम्बई, वीर स. २४५३ त्रिलोकसार, प्राकृत, टीका सहित श्रीनेमिचद्र सिद्धान्त चक्रवर्ती
माणिकचन्द्र दिगम्बर जैन ग्रन्थमाला समिति टीकाकार-श्री माधवचन्द्र
हीरावाग गिरगाव घम्बई, वीर स. २४४४ त्रिपरि शलाका पुरुष चरित्र हेमचद्राचार्य
जैनधर्म प्रमारक सभा भावनगर गुजराती अनुवाद भाग ४ वि स ११४५ -१२२६ ] दस पइगगा [प्रकीर्णक] प्राकृत
देवचद लालभाई जैन पुस्तकोद्धार फड बम्बई दशवकालिक सुत्र, मूल मौर मुलकर्ता-शय्यभवस्वामी [वीर की प्रथम शताब्दी) देवचद लालभाई जैन पुस्तकोद्धार फड बम्बई, नियुक्ति-प्राकृत, टीका संस्कृत नियुक्तिकार-भद्रबाहुम्वामी [वीर की पहली दूसरी वीर सं २४४४
शताब्दी]टीकाकार-हरिभद्रसूरि [छठी शताब्दी] दशाश्रुतस्कध दशाभाषान्तर मनुवादक-उपाध्याय श्री प्रात्मारामजी महाराज जैन शास्त्रमाला कार्यालय, सैदमिठा बाजार लाहोर, सहित मून प्राकृत
[ विद्यमान ]
वीर स. २४६२
विप
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द.प दश.
दशा