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________________ ( २० ) शुद्ध, है, वह पुरुष अनासक्त है" इत्यादि । इन दोनों प्रकार के वाक्यों का समाधान, ब्रह्म की सर्वभवन सामर्थ्य, विरुद्ध धर्माश्रयता, और किसी अन्य में ऐसा होना संभव नहीं है, इन आधारों पर ही हो सकता है।" "अस्थूलादि वाक्यान्यपि सन्ति सर्वत्र प्रपञ्च तद्धर्म बैलक्षण्यप्रतिपादिक्कतनि ततोऽन्योन्यविरोधेनैकस्य मुख्यार्थवाधो वक्तव्यः तत्र स्वरूपापेक्षयां कार्मस्य गौणत्वात्, प्रपञ्चरूपप्रतिपादकानामेव कञ्चित् कल्पयेत्, तन्माभूदिनि, जन्मादि सूत्रवत् समन्वयसूत्र मपि सूत्रतवान्, तथा क्त अस्थूलादिगुणयुक्त एव अतिक्तियमाण एव आत्मानं करोति इति वेदान्तार्थः, संगतो भवति । विरुद्ध सर्वर्धाश्रयत्वंतु ब्रह्मणो भूषणाय" (अणु० भा० १।११३) अर्थात्-ब्रह्म के सूक्ष्म आदि निरूपण करने वाले वाक्यों का भी वेदान्त में बाहुल्य है जो कि प्रपञ्च और उसके धर्मों से उसकी विलक्षणता का प्रतिपादन कर रहे हैं, इनके विरुद्ध धर्मों का भी वेदान्त में प्रचुर प्रतिपादन है, दोनों प्रकार के विरुद्ध वाक्यों में उनके स्वरूप को प्रधान तथा कार्य को गौण मानकर प्रपञ्चरूप प्रतिपादक वाक्यों का कल्पित निर्णय करना उचित नहीं है । सूत्रकार ने जन्मादिसूत्र की तरह समन्वयसूत्र का भी विधान किया है जिससे निश्चित होता है कि अस्थूलादि गुणवान, विनाविकृत हुए अपने को जगत् रूप में प्रकट करता है, वेदान्तों का ऐसा समाधान ही संगत है। विरुद्ध धर्माश्रयता ब्रह्म का भूषण ही है। (३) सत्कारणवाद के अनुसार जगत् सत् के रूप में अद्वैतात्मक हो जाता है, जगत का कारण केवल सत् अर्थात् ब्रह्म ही है उसका स्पष्ट निर्देश निम्नांकित श्रुति में है"सन्मूलमन्विच्छ सन्मूलाः सौम्येमाः सर्वाः प्रजाः सदायतनाः सत्प्रतिष्ठाः" (छां० ६६४) अर्थात् हे सौम्य ! यह सारी प्रजा, सन्मूल, सत् में स्थित, सत् में प्रतिष्ठित है इसे सन्मूल ही समझो। __ अतएव "पत्रावलम्वन में श्रीमदाचार्य चरण कहते हैं "कारणीभूतस्य सत् रूपत्वात्" (४) सत्कार्यवाद की दृष्टि में सत् ब्रह्म में जो अनेक कार्य होते हैं, वे भी सत् रूप ही हैं, यहाँ तक कि होने के पूर्व भी ब्रह्म के रूप में सत् ही थे, होने के
SR No.010491
Book TitleShrimad Vallabh Vedanta
Original Sutra AuthorN/A
AuthorVallabhacharya
PublisherNimbarkacharya Pith Prayag
Publication Year1980
Total Pages734
LanguageHindi, Sanskrit
ClassificationInterfaith, Hinduism, R000, & R001
File Size57 MB
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