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प्रकाशकीय
हमारे परम सौभाग्य से विगत वर्ष वाणीभूषण पूज्य गुरुदेव श्री गिरीशचन्द्रजी म० तथा साहित्यरश्मि पू० जिज्ञेश मुनिजी म० का चातुर्मास सभा के नवनिर्मापित भवन में अत्यन्त धर्म जागृति के साथ सम्पन्न हुआ । चातुर्मास काल में नमस्कार महामन्त्र का प्रखंड जाप, भक्तामर स्तोत्र का सामूहिक पाठ, त्यागतपश्चर्या, ज्ञानसाधना आदि अनेक महत्त्व पूर्ण धार्मिक अनुष्ठान हुए। जैन ज्ञान- प्रदर्शिनी के अपूर्व प्रायोजन ने जैन साहित्य व संस्कृति के प्रति जन-मानस में अनुराग प्रस्तुत महावीर जीवन बोधिनी उत्पन्न कर दिया । पुस्तिका के प्रकाशन की प्रेरणा उसी प्रदर्शनी से ही प्राप्त हुई ।
यह लघु पुस्तिका भगवान महावीर के जीवन पर प्रश्नोत्तर पद्धति से पूर्ण प्रकाश डालती है । संक्षिप्त में इसमें सम्पूर्ण भगवान महावीर का जीवन व दर्शन समाहित है ।