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तीर्थ का प्रकार
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नं० प्राचीन नाम ३१ कारकल ३२ मूडबिदुरी ३३ वारांग ३४ विजयनगर
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वर्तमाम नाम व जिला कहाँ से जाया जाता हैं कारकल (दक्षिण कनाड़ा) शिमोगा दक्षिण रेलवे मूडबिदुरे (दक्षिण कन्नड़) वारांग ( , ) विजयनगरम्
विजयनगरम् दक्षिण रेलवे
हुबली शोलापुर वेणूर जैनबद्री (हासन) हासन दक्षिण रेलवे हलेबिड
हासन दक्षिण रेलवे
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३५ वेणूर ३६ श्रवणवेलगोल २७ द्वारा समुद्र
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* मद्रास *
मद्रास प्रान्त [दक्षिण भारत] दिगम्बर जैनों का प्रमुख आवास रहा है। श्रु तकेवली-भद्रबाहूस्वामी ने सम्राट चन्द्रगुप्त मौर्य को द्वादश-स्वप्नों का फल बताते हुए कहा था कि इस कलिकाल में दिगम्बर जैनधर्म दक्षिण प्रान्त में ही उन्नतशील रहेगा। वास्तव में हुआ भी ऐसा ही है। भद्रबाहु स्वामी के बहुत पहले से जैनधर्म इस प्रान्त में पहुंच चुका था। आदि तीर्थकर ऋषभदेव का विहार यहां हुअा था और उनके पुत्र बाहुबलि जी का राज्य भी इस ओर रहा था। भगवान् नेमिनाथ जी के कल्याणकारी विहार का वर्णन 'दरिवंश पग' में मिलता है। ------- ----