________________
(१५५) रूप से नहीं किन्तु आगे बतलाने के मुताबिक अनेक रूप
से वस्तु का स्वीकार करता है। प्र० इस नय के कितने प्रकार हैं और वे कौन कौन से ? १० उन के तीन प्रकार हैं । ( १ ) भूत ( २ ) भविष्य
( ३ ) वर्तमान प्र. भूत नैगम किस को कहते हैं ? उ० भूत नैगम अर्थात् भूत वस्तु का वर्तमानरूप से व्यवहार
करना वह । जैसे-यह वही दीवाली (दीवावली ) का
दिन है जिस दिन श्रीप्रभु महावीर निर्वाण को पाये थे। प्र० भविष्य नैगम क्या है ? उ० होनेवाली वस्तु को हुई कहना । जैसे-चावल अच्छी तरह
से न पके हो और पके हैं एसा कहना वह भविष्य
नैगम नय है। प्र. वर्तमान नैगम किस को कहते हैं ? उ० क्रिया का आरम्भ न हुआ हो किन्तु सर्व तैयारियों को
देख कर 'हुई है' ऐसा कहना । प्र० संग्रहनय किस को कहते हैं ? उ० समु अर्थात् सम्यक् प्रकार और ग्रह अर्थात् ग्रहण करना।
जो सम्यक् प्रकार से ग्रहण किया है उस को संग्रहनय कहते