________________
AAMAN
( ३२६) जन सुबोध गुकटा।
. नस्बर ४४१
[तर्ज-मर्दवनो मर्दवनो] बन्द करो बन्द करो, तुम बालविवाह को बन्द करो ॥ ध्रुव ॥ छोटे छोटे छोरा छोरी, खेले धूल में मिलकर टोरी। मत लग्न करो मत लग्न करो, लघुवय में मतना लग्न करो ॥ १॥ समझत नहीं हिताहितं माई, मोह वश देवे परणाई । ध्यान धरो ध्यान धरो, हित शिक्षा पै कुछ ध्यान धरो॥२॥ बच्चपन में विद्या न पढ़ाओ, नाहक लग्न उनके करवाओ। क्यों बदनाम करो बदनाम करो, भारत का मत बदनाम करो ॥ ३ ॥ मत वीर्य नष्ट लघुवय में कराओ, ब्रह्मचये उनसे पलवानो । मत जुल्म करो जुल्म करा, निज बच्चों पै मत जुल्म करो.॥ ४ ॥ जीवित कब उन के सुत रहावे, अल्प उमर में कई मर जावे । विचार करो विचार करो, सब बान्धव अब विचारं करो ॥५॥ गोर करो जाति के मुखिया,,होय तभी यह भारत मुखिया कुछ गोर करो गोर करो, जाति के मुखिया.गोर करो॥६॥ चौथमल, सवको जितलाया, शहर सतारे भजन बनाया। सुधार करो सुधार करो, निज जाति का सुधार करो ॥७॥
. नंबर ४४२ . . . .
(तर्ज-कमली वाले की) मत देचो कन्या को कोई, दिल बीच दया तुम