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अनुक्रमणिका
पृष्ठ सं० प्रथम तीर्थंकर ऋषभदेव
मुनि नेमिसागरजी चौबीसवें तीर्थकर महावीर
ग्रा० कुन्थसागरजी पाचार्य भद्रबाहु स्वामी
प्राचार्य पायसागरजी भाचार्य धरसेन
मुनि मल्लिसागरजी " पुष्पदन्त एवं भूतवलि
, चन्द्रकीतिजी " कुन्दकुन्द स्वामी
, वर्द्ध मानसागरजी ( दक्षिण ) उमास्वामी
" धर्मसागरजी समन्तभद्र स्वामी
प्राचार्य सुधर्मसागरजी " प्रकलंक स्वामी
मुनि नेमसागरजी " पूज्यपाद स्वामी
क्षु० चन्द्रकीर्तिजी , जिनसेन
९. धर्मसागरजी ( कुरावड़) । रविण
आर्यिका विद्यावतीजी भारतीय संस्कृति में दिग० साधुनों का स्थान
प्रायिका चन्द्रवतीजी जैनाचार्यों का समाज व राष्ट्र को योगदान ३५ प्रायिका सिद्धमतीजी दिगम्बर मुनिराज स्तवनांजलि .
क्षु० गुणमतीजी मुनियों का जीवन
क्षु० अजितमतीजी आदि मुनि भगवान ऋषभदेव के प्रति ___४०
प्राचार्य श्री वीरसागर स्तुतिः प्राचार्य श्री शांतिसागर स्तुतिः
प्रा. श्री वीरसागरजी द्वारा दीक्षित शिष्य १०३ मा. श्री शांतिसागरजी महाराज द्वारा
प्राचार्य श्री शिवसागरजी दीक्षित साधुवृन्द ।
" श्री धर्मसागरजी प्राचार्य श्री शांतिसागरजी
मुनि पद्मसागरजी , श्री वीरसागरजी
" सन्मतिसागरजी
१२९ मुनि श्री चन्द्रसागरजी
, आदिसागरजी
१३० प्राचार्य श्री नमिसागरजी
७३ । , सुमतिसागरजी
१०५
१२९